scriptऔसत से अधिक बारिश में भी विभाग स्टोरेज नहीं कर पाए पानी | Ponds and gutters empty with rivers, stop-themed remains as showpiece | Patrika News

औसत से अधिक बारिश में भी विभाग स्टोरेज नहीं कर पाए पानी

locationटीकमगढ़Published: May 19, 2019 07:46:21 pm

Submitted by:

akhilesh lodhi

जिले में इस वर्ष बारिश औसत १०००.२ मिमी से अधिक ११२६.१ मिमी हुई है। बारिश के पानी को रोकने के लिए जिम्मेदार विभागों द्वारा नदियों, तालाब और नालों पर बड़ी लागत से स्टाप डेम निर्माण किए गए थे।

 Ponds and gutters empty with rivers, stop-themed remains as showpiece

Ponds and gutters empty with rivers, stop-themed remains as showpiece

टीकमगढ़.जिले में इस वर्ष बारिश औसत १०००.२ मिमी से अधिक ११२६.१ मिमी हुई है। बारिश के पानी को रोकने के लिए जिम्मेदार विभागों द्वारा नदियों, तालाब और नालों पर बड़ी लागत से स्टाप डेम निर्माण किए गए थे। इसके बाद भी वह सभी नदियां, तालाब और नाले खाली पड़े है। लेकिन सरकारी कागजों में निर्माण किए गए स्टॉपडेमों का भराव अधिक मात्रा में दिखाया जा रहा है।
जिले का जलस्तर बढ़ाने शासन और प्रशासन द्वारा जामनी नदी, बेतवा नदी, उर नदी, धसान नदी, जमडार नदियों का पानी रोकने के लिए करोडों रुपए की लागत से स्टाप डेम निर्माण किए गए। लेकिन यह स्टाप डेम इस वर्ष के पानी को नहीं रोक पाए। जिसके कारण सभी नदियां खाली दिखाई दे रही है। जिस पर न तो विभाग द्वारा ध्यान दिया गया और न ही रोके गए पानी के न मिलने पर प्रशासन द्वारा कोई प्रयास किए गए। इन जल स्त्रोतो में पानी नहीं होने के कारण ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल को लेकर असर पड़ रहा है।
औसत बारिश के बाद भी नहीं भरे तालाब
वर्षाकाल पूर्ण होने के पूर्व ही जिले में कुल 1126.1 मिमी औसत बारिश दर्ज की गई थी। जबकि जिले की औसत बारिश का आंकड़ा 1000.2 मिमी था। जिले में औसत बारिश का आंकड़ा जरूर पूरा हो गया है, लेकिन तालाबों की स्थिति ङ्क्षचताजनक बनी रही। जिले की सिंचाई संरचनाओं के रूप में अपनी अहम उपयोगिता दर्ज कराने वाले जिले के 129 प्रमुख तालाबों में से 63 में ही क्षमता के अनुरूप पानी पहुंचा था। शेष तालाबों को पानी की दरकार रही है।
यह है तालाबों की स्थिति
जिले में सिंचाई के लिए अपनी महत्ती भूमिका निभाने वाली बड़ी परियोजनाओं में शामिल नंदनवारा बांध ही इस बार पूरी तरह से भर गया था। वहीं दूसरी परियोजना राजेन्द्र सागर बांध में वर्षाकाल पूर्ण हो जाने के बाद 80 प्रतिशत ही पानी पहुंचा था। इनके अतिरिक्त जिले में सिंचाई के लिए उपयोगी शेष 127 तालाबों में से 16 तालाबों में क्षमता का 25 प्रतिशत, 23 तालाबों में 25 से 50 प्रतिशत, 13 तालाबों में 50 से 75 प्रतिशत एवं 5 तालाबों में 75 से 100 प्रतिशत के बीच पानी पहुंच पाया था। इनके अलावा 63 तालाब पूरी तरह से भर चुके थे। लेकिन इन दिनों तालाबों में ३० प्रतिशत से कम ही पानी बचा है।

पानी रोक ने के लिए स्टाप डेम और चेकडेम तो बनाए गए, लेकिन नहीं है उनमें पानी
पानी संरक्षित करने के लिए शासन और प्रशासन जामनी नदी, बेतवा नदी, धसान नदी, उर नदी और जमडार नदी के साथ अन्य नदियों में स्टाप डेम और चेकडेम करोड़ों रुपए की लागत से निर्माण किए गए थे। लेकिन यह निर्माण कार्य पानी सरंक्षित के लिए लाभदायी नहीं हुए है। जिन-जिन नदियों और नालों में डेम निर्माण किए गए है। वहां पर पीने के लिए भी नहीं बचा है।
इनका कहना
जिले में जल संरक्षण को लेकर प्रशासन गंभीर है। मनरेगा से तालाब निर्माण,चंदेली तालाबो का जीर्णोद्वार के साथ ही नदी पुर्नजीवन के कार्य कराए जा रहे है। पुराने स्टापडेमो में जहां पानी संरक्षित नही हुआ है,वहां के कारणो की समीक्षा की जाएगी।
सौरभ कुमार सुमन कलेक्टर टीकमगढ़
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