तो चलिए आपको बताते हैं कि क्या है इस फिल्म के नाम कि फुल फॉर्म। इसका फुल फॉर्म है 'राइज, रॉर और रिवॉल्ट'। अब आप सोच रहे होंगे इस फिल्म का नाम यहीं क्यों रखा गया। तो चलिए आपको बताते चलें, राजामौली की इस फिल्म का टाइटल जब 'आरआरआर' फैंस के सामने आया, तो कोई हैरान रह गया था। आज इस आर्टिकल में हम आपको इस टाइटल के पीछे की कहानी के बारे में बताते हैं। बताते हैं कि कैसे इस फिल्म का नाम 'आरआरआर' रखा गया?
फिल्म 'आरआरआर' का हिंदी फूल फॉर्म तो आपको पता ही चल गया है। अब आपको बता दें इस फिल्म का तेलुगू वर्जन में भी अलग नाम है, जो कि है 'रौद्रम् रणम् रुधिरम्'। लेकिन कम ही लोग जानते हैं कि पहले इस फिल्म का टाइटल कुछ और था। लेकिन शुरुआती दिनों में राजामौली ने सबके बीच फिल्म के टाइटल से जुड़ा अपना एक आइडिया रखा। उन्होंने फिल्म के दोनों स्टार राम चरण और रामा राव के अलावा निर्देशक राजामौली के नाम के पहले अक्षर यानी 'R' से फिल्म का टाइटल रखने का सुझाव दिया, जिसके बाद फिल्म का नाम 'आरआरआर' (RRR) रखा गया।
अब तक तो हमने फिल्म के टाइटल को लेकर बात की, अब आपको इस फिल्म की कहानी को लेकर अनसुना किस्सा बताते हैं। ये फिल्म दो रियल लाइफ हीरो यानी तेलुगु स्वतंत्रता संग्राम सेनानी कोमाराम भीम और अल्लूरी सीताराम राजू की जिंदगी पर आधारित है। इन्होंने देश की खातिर अंग्रेजों से पंगा लिया था। ये फिल्म देशभक्ति की भावना से ओत-प्रोत है। फिल्म क्रांतिकारी अल्लूरी सीताराम राजू और कोमाराम भीम पर बनाई गई है, जिन्होंने ब्रिटिश हुकुमत और हैदराबाद के निजाम के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी।
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इस फिल्म को पुणे, हैदराबाद और यूक्रेन में शूट किया गया। इस फिल्म को फिल्माने में करीब 300 दिन लगे थे। रिपोर्ट्स की मानें तो इस फिल्म के एक बड़े हिस्से की शूटिंग एल्युमिनियम फैक्ट्री में की गई थी। यहां पर भी अलग-अलग सीन्स के लिए स्पेशल सेट्स तैयार किए गए थे। आपको बता दें कि फिल्ममेकर्स ने इस फिल्म की शूटिंग के लिए 100 एकड़ जमीन लीज पर ली थी। इसी जमीन पर एक लग्जरी बंगला बनवाया गया, जिसमें जरूरत की हर सुविधाएं मौजूद थी।इस फिल्म से हर किसी को उम्मीद थी कि यह पहले दिन शानदार ओपनिंग करेगी और ऐसा हुआ भी, इसने पहले ही दिन 132 करोड़ रुपये के करीब धमाकेदार कलेक्शन किया है।
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