scriptडिप्टी, 3 सीआई, पुलिसकर्मी, नाका कार्मिकों के खिलाफ 2 मामले दर्ज | 2 cases registered against deputy, 3 CI, policeman, Naka personnel | Patrika News

डिप्टी, 3 सीआई, पुलिसकर्मी, नाका कार्मिकों के खिलाफ 2 मामले दर्ज

locationटोंकPublished: Oct 07, 2022 09:02:16 pm

Submitted by:

jalaluddin khan

आईजी ने पीडि़तों के बयानमहिला थाने में पूर्व जिला प्रमुख से की मुलाकातघायल के भाई और दुकानदार ने दर्ज कराया मामला

डिप्टी, 3 सीआई, पुलिसकर्मी, नाका कार्मिकों के खिलाफ 2 मामले दर्ज

डिप्टी, 3 सीआई, पुलिसकर्मी, नाका कार्मिकों के खिलाफ 2 मामले दर्ज

डिप्टी, 3 सीआई, पुलिसकर्मी, नाका कार्मिकों के खिलाफ 2 मामले दर्ज
आईजी ने पीडि़तों के बयान
महिला थाने में पूर्व जिला प्रमुख से की मुलाकात
घायल के भाई और दुकानदार ने दर्ज कराया मामला
टोंक/निवाई. सोहेला-डिग्गी मार्ग स्थित हाडीखुर्द गांव में पुलिस और पूर्व जिला प्रमुख के बीच हुए विवाद के बाद निवाई के तत्कालीन पुलिस उपाधीक्षक, बरोनी, पीपलू व टोंक सदर थाना प्रभारी, हैड कांस्टेबल राजाराम केवट व बरोनी थाने के कुलदीपसिंह समेत बजरी रॉयल्टी नाका के कर्मचारियों के खिलाफ बरोनी थाने में दो अलग-अलग मामले दर्ज कराए गए हैं।
एक मामला बजरी रॉयल्टी नाका कार्मिकों की ओर से किए गए पथराव और हमले के घायल ककराज कला निवासी सुरमालाल के भाई कन्हैयालाल कीर ने दर्ज कराया है। इसमें पुलिस की ओर से बरोनी थाने में ले जाकर मारपीट तथा धमकाना है। वहीं दूसरा मामला हाडीखुर्द गांव निवासी जयनारायण बैरवा ने दर्ज कराया है। इसमें दुकान में तोडफ़ोड़, मारपीट और जातिसूचक शब्दों से अपमानित करने का मामला दर्ज कराया है। दोनों मामले दर्ज कर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।

ककराज कला कीरों की ढाणी निवासी कन्हैयालाल पुत्र जग्गा कीर ने मामला दर्ज कराया कि गत 5 अक्टूबर को उसका भाई सुरमालाल हाडीखुर्द गांव में किराने का सामान लेने गया था। सामान खरीदने के दौरान वहां पर अचानक बिना नम्बर की चार-पांच गाडिय़ां तेज गति से आई और चालकों ने गाडिय़ों का तेज गति से घुमाया, जिससे धूल दुकान में भर गई। उलाहना दिया गया तो उन्होंने पत्थरों व लाठियों से हमला कर दिया।
आरोपियों ने सुरमालाल से भी मारपीट की, जिससे उसका पैर टूट गया। सूचना पर कन्हैयालाल मौके पर पहुंचा और मौजूद पुलिसकर्मियों से भाई के बारे में पूछा। इस पर पुलिसकर्मियों ने उसके साथ भी मारपीट की और पुलिस थाने ले गए। जहां उसने पुलिसकर्मियों पर मारपीट और धमकाने की शिकायत दी है।

वहीं दूसरा मामला हाडीखुर्द निवासी जयनारायण पुत्र लालाराम बैरवा ने दर्ज करवाया कि गत 5 अक्टूबर को वह हाडीखुर्द में दुकान पर बैठा था। धूल उडऩे पर उलाहना दिया तो रॉयल्टी नाका कार्मिकों ने पत्थर व लाठियों से दुकान पर हमला कर दिया। इस दौरान पुलिस भी मौजूद थी।

इसका विरोध किया तो उन्होंने जाति ***** शब्दों से अपमानित किया और मारपीट की। तोडफ़ोड़ में दुकान में करीब 40-50 हजार का नुकसान हो गया। पीडि़त ने पुलिस पर आरोप लगाया कि उन्होंने भी मुझे व ग्रामीणों का धमकाया।

इससे पहले बरोनी थाना पुलिस ने हाडीखुर्द गांव में जाम लगाने के मामले में 16 नामजद व 40 अन्य के खिलाफ जाम लगाने और राजकार्य में बाधा का मामला दर्ज किया था।

थाने में आईजी ने की मुलाकात
हाडीखुर्द गांव में हुए मामले को लेकर अजमेर रेंज आईजी रूपेन्द्रसिंह मय टीम के पीपलू क्षेत्र में आए। उन्होंने नाथड़ी स्थित पीपलू थाने में पूर्व जिला प्रमुख रामबिलास चौधरी, ग्रामीणों व पुलिसकर्मियों से वार्ता की। आईजी सबसे पहले पीपलू पुलिस उपाधीक्षक कार्यालय पहुंचे। जहां डिप्टी इन्दु लोदी से पूरे घटनाक्रम की बारीकी से जानकारी ली।
इसके बाद आईजी नाथड़ी स्थित पुलिस थाना पीपलू पहुंचे। जहां पुलिस अधीक्षक मनीष त्रिपाठी, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक भवानी सिंह राठौड़, पीपलू वृत्ताधिकारी इन्दू लोदी, बरोनी थानाधिकारी हरिराम वर्मा, थानाधिकारी पीपलू प्रहलाद सहाय आदि से वार्ता कर घटना के दिन मौके पर तैनात पुलिसकर्मियों के अलावा शिकायतकर्ताओं को भी बुलाकर घटना की जानकारी ली।
इस दौरान पूर्व जिला प्रमुख रामबिलास चौधरी को भी पीपलू थाने बुलाया गया। पूर्व जिला प्रमुख घटना के दिन मौके पर उपस्थित चश्मदीद ग्रामीणों के साथ पुलिस महानिरीक्षक से मिलने पहुंचे तथा पूरा घटनाक्रम विस्तार से बताया। इधर, आईजी के नेतृत्व में एक पुलिस टीम पूरे वाक्या एवं सोशल मीडिया पर वायरल हुए घटना के वीडियो फुटेज के आधार पर जांच में जुटी हुई है।

उल्लेखनीय है कि बुधवार को पूर्व जिला प्रमुख रामबिलास चौधरी के साथ हाडीखुर्द गांव में वृत्ताधिकारी निवाई रूद्रप्रकाश शर्मा, थानाधिकारी सदर टोंक आशाराम गुर्जर आदि पर दुव्र्यवहार कर प्रताडि़त किए जाने के बाद पुलिस मुख्यालय ने उन्हें निलम्बित कर दिया था। वहीं जांच आईजी अजमेर को दी गई थी।
मैंने अभद्रता नहीं की थी
पूर्व जिला प्रमुख रामबिलास चौधरी ने बताया कि पीपलू वृत एवं बरोनी थाना अन्तर्गत हाडीखुर्द होने के बावजूद अन्य थाना क्षेत्रों के पुलिस अधिकारियों ने जबरन सिंघम बनने का प्रयास करते हुए उनके साथ दुव्र्यवहार कर उन्हें पुलिस हिरासत में ले लिया, जो उचित नहीं था। जबकि मौके पर उनके द्वारा किसी भी पुलिस अधिकारी से कोई अभद्रता नहीं की गई थी।

यह है असल मुद्दा
हाड़ीखुर्द गांव में हुआ विवाद बजरी खनन से जुड़ा है। दरअसल ग्रामीण और बजरी रॉयल्टी कार्मिक कई बार आमने-सामने हो चुके हैं। कांग्रेस पदाधिकारियों ने आरोप लगाया था कि बजरी रॉयल्टी नाके के कार्मिक गाडिय़ों में रातभर पुलिस की तरह गश्त करते हैं।

उन्हें कोई अवैध खनन कर बजरी भरा वाहन मिलता है तो वे उनके साथ मारपीट करते हैं। जबकि वे इसकी शिकायत खनीज विभाग या पुलिस से करें, लेकिन ऐसा नहीं कर स्वयं अवैध खनन को रोकने में जुटे हैं। दूसरी तरफ हाइवे पर लगे नाकों पर भी ऐसा ही बर्ताव होता है।
दूसरी ओर प्रशासन के अनुसार गांव कुछ लोग भी अवैध खनन से बाज नहीं आ रहे हैं। उनके साथ बजरी रॉयल्टी कार्मिक मारपीट करते हैं तो वे पुलिस तक नहीं पहुंचते। बल्कि अपने स्तर पर निपटते हैं। इसी के चलते गांवों में यह विवाद बढ़ रहा है।

इनका कहना है
इस विषय को लेकर पुलिस अधिकारियों और पूर्व जिला प्रमुख व सम्बन्धित लोगों से घटनाक्रम को लेकर जानकारी ली। काफी विस्तार से दोनों पक्षों को सुना गया। मामले की रिपोर्ट जल्द ही राज्य सरकार को पेश की जाएगी।
– रूपेन्द्रसिंह, आईजी अजमेर
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो