वहीं इन दिनों बांध के गेटों को कम्प्यूटर से खोलने व बंद करने की जांच का कार्य अंतिम पायदान पर है। गुरुवार को परियोजना की ओर से बांध के दो गेटों को कम्प्यूटर से खोलकर बंद करने के कार्य की जांच की गई, वहीं रोजाना गेटों की जांच का कार्य प्रगति पर है।
बांध परियोजना के अभियंताओं के अनुसार यह सिस्टम 15 जून से पहले संचालित होने की सम्भावना है। बांध के अधिशासी अभियंता आरसी कटारा ने बताया कि राज्य में पूरी तरहा कम्प्यूटराइड होने वाला बीसलपुर बांध पहला बांध होगा। वहीं दूसरे स्थान पर बांसवाड़ा जिले का माही बांध व तीसरा पाली जिले का जंवाई बांध है।
बीसलपुर बांध का कम्प्यूटराइड कन्ट्रोल रूम बनकर तैयार होने के साथ ही सिस्टम की जांच की जा रही है। कटारा ने बताया कि बीसलपुर बांध पर बनाये गये नये कन्ट्रोल रूम की लागत 3.50 करोड़ रुपए है। कन्ट्रोल रूम से अब बांध के गेट खोलने व पानी की निकासी आदि सब परिक्रया कम्प्यूटराइड होगी।
पूर्व में बांध के पुराने कन्ट्रोल रूम से बटन दबाकर गेट खोले व बंद किए जाते थे, जिसमें कई बार तकनीकी खराबी आने के कारण अलग-अलग खेट खोलने पड़ते थे। पानी की निकासी व गेज की कर्मचारियों व अभियंताओं को सभी जानकारियां कागजों में तैयार कर दूरभाष आदि से भेजनी पड़ती थी।