आर्टिकल 14 भारत में रहने वाले प्रत्येक नागरिक को समानता का अधिकार देता है। यास्मीन फारूकी ने कहा कि हम पैदाइशी भारत के नागरिक है। हमसे कोई नागरिकता के दस्तावेज नहीं मांग सकता। हम काला कानून वापस लेने तक आंदोलन जारी रखेंगे। इससे पहले महिलाओं ने नागरिकता कानून का विरोध किया। इस दौरान नुसरत जहां, खालिदा, नुदरत जहां, आयशा, माएशा खातून, सायमा खान, ताबिश खान, सरताज अहमद, विनोद सिंह बैरवा, जाकिर सना, मेहबूब उस्मानी आदि मौजूद थे।
नारे का किया विरोध
भाजपा पदाधिकारियों ने जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंपकर शहर में चल रहे धरने के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के खिलाफ अपमानजनक नारे लगाने का विरोध किया। उन्होंने नारे लगाने वालों के खिलाफ कार्रवाईकी मांग की। इसमें बताया कि पहले तो प्रशासन ने अनुमति नहीं दी, लेकिन बाद में दी गई।
इसमें प्रधानमंत्री के खिलाफ अपानजनक नारे लगाए गए। भाजपा ने इसकी विरोध करते हुए निंदा की है। साथ ही आरोपियों के खिलाफकार्रवाईकी मांग की है। ज्ञापन देने वालों में जिलाध्यक्ष राजेन्द्र पराना, किशन गोपाल, प्रभु बाडोलिया, रतनलाल, राजेश शर्मा, मोजीराम, बेनीप्रसाद, शिवराज आदि शामिल थे।