उन्होंने राजस्व कर्मचारियों को अपने क्षेत्र में कृषि भूमि पर हो रखे अवैध बजरी स्टॉक, अवैध बजरी में लगे वाहनों को चिह्नित करने, लिप्त लोगों के नामों की लिस्ट प्रस्तुत करने के आदेश दिए। इस पर कई राजस्वकर्मियों ने कहा कि उनके क्षेत्र में कृषि भूमि पर अवैध बजरी का स्टॉक नहीं हैं।
इस पर एसडीएम ने राजस्वकर्मियों से कहा कि अगर उन्हें कार्रवाई के दौरान प्रस्तुत की गई रिपोर्ट के उल्ट गतिविधियां पाई गई तो वो परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहे। उपखंड अधिकारी डॉ. लक्ष्मीनारायण बुनकर ने बताया कि अपने-अपने क्षेत्र में रात 10 बजे बाद खनन क्षेत्र में बिना कोई कारण के पाया जाता हैं तो उसकी सूचना पुलिस को दें, उसके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
उपखंड अधिकारी ने कहा कि 10 बजे बाद खनन क्षेत्र के आसपास के गांव नुक्कड़ चौराहा पर चाय व अन्य सामानों की दुकानें नहीं खोलेंगे। खुली मिली तो उस दुकानदार के विरुद्ध गिरफ्तारी सहित कानूनी कार्यवाही की जाएगी।बैठक में पीपलू पुलिस उपअधीक्षक रामगोपाल बसवाल, जिला परिवहन अधिकारी डॉ. सज्जनकुमार, तहसीलदार कैलाशचंद नायक, नायब तहसीलदार सीताराम लक्षकार, थानाधिकारी अनिलकुमार पांडे सहित एसआईटी टीम के सदस्य मौजूद रहे।
समस्या नहीं समाधान बताएं
एसआईटी की बैठक में राजस्वकर्मी जब उपखंड अधिकारी को कार्रवाई में आने वाली परेशानियां बताने लगे तो उन्होंने सभी को दो टूक जवाब देते हुए कहा कि वह उन्हें समस्या बताने की बजाए समस्या का समाधान बताएं। उपखंड अधिकारी ने राजस्वकर्मियों को जवाब देते हुए कहा कि राजकीय सेवा में हमारा दायित्व हैं कि हमें जो भी जिम्मेदारी मिलती हैं उसे पूर्ण जवाबदेही के साथ करना हैं। राजकीय सेवा में किसी भी प्रकार की कोई गारंटी नहीं मिलती हैं।
गार्ड नहीं रेंजर हैं टीम का सदस्य
एसआईटी की बैठक में वन विभाग के रेंजर के अनुपस्थित रहने तथा उसकी जगह गार्ड को भेजने पर उपखंड अधिकारी ने डीएफओ को फोन पर इस संबंध में सूचना दी तथा बताया कि एसआईटी में रेंजर सदस्य हैं जो कि अब तक की गई किसी भी कार्रवाई में सम्मिलित नहीं हुआ हैं। वहीं बैठक में खुद उपस्थित नहीं होकर अपना फोन स्विच ऑफ करते हुए गार्ड को भेज दिया हैं।