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उदयपुर

छपाक फिल्म रिलीज, पहले दिन लेकसिटीजंस पहुंचे सिनेमाघर

उदयपुर. 14 साल पहले एसिड अटैक का शिकार हुई लक्ष्मी अग्रवाल के जीवन पर आधारित फिल्म ‘छपाक’ शुक्रवार को रिलीज हुई। रिलीज से पहले ही इस फिल्म ने काफी सुर्खियां बटोर ली थीं। वहीं, दर्शकों के मन में भी इस फिल्म के प्रति एक उत्सुकता बन गई थी।
 

उदयपुरJan 11, 2020 / 03:17 pm

Krishna

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कृष्णा तंवर/उदयपुर. 14 साल पहले एसिड अटैक का शिकार हुई लक्ष्मी अग्रवाल के जीवन पर आधारित फिल्म ‘छपाक’ शुक्रवार को रिलीज हुई। रिलीज से पहले ही इस फिल्म ने काफी सुर्खियां बटोर ली थीं। वहीं, दर्शकों के मन में भी इस फिल्म के प्रति एक उत्सुकता बन गई थी। फिर दीपिका के जेएनयू जाने पर फिल्म के बायकॉट के स्वर भी उभरे लेकिन इसका कोई खास असर फिल्म पर नहीं दिखा। वहीं, इस गंभीर और संवेदनशील मुद्दे पर बनी फिल्म को जब पहले दिन लोगों ने देखा तो दीपिका और विक्रांत मैसी के तगड़े अभियन की जमकर तारीफ की वहीं मेघना गुलजार के इस प्रयास को भी सराहा। वहीं, इस फिल्म में ‘शीरोज’ में काम करने वाली अन्य एसिड अटैक सर्वाइवर्स ने भी काम किया है, जिन्होंने उदयपुर में भी ‘शीरोज’ चलाया था। पहले दिन मूवी देखने पहुंचे लेकसिटीजंस से बात कर जाना की, उन्हें फिल्म कैसी लगी-
दीपिका की एक्टिंग दमदार
ये मूवी बहुत इंस्पायरिंग है। दीपिका ने अपनी दमदार एक्टिंग से एसिड अटैक सर्वाइवर्स का दर्द बखूबी बयां किया है। ऐसे टॉपिक्स पर फिल्म बनाने की सोच को भी सलाम है।– मान सिंह

सोचने पर मजबूर करती है मूवी
छपाक मूवी ने दर्शकों के दिल और दिमाग दोनों को छुआ है। फिल्म के माध्यम से एसिड अटैक सर्वाइवर्स का दर्द लोगों के सामने लाया गया है । वहीं, एसिड के खुले आम बिकने पर भी सवाल उठाया गया है। ये मूवी लोगों को सोचने पर मजबूर करती है। सभी का अभिनय अच्छा है।– विवेक भाटिया

कभी हार ना मानने की मिसाल
एसिड अटैक सर्वाइवर्स की जिंदगी पहले क्या होती है और बाद में क्या होती है.. ये फिल्म में बहुत ही खूबसूरती से दिखाया गया है। साथ ही सर्वाइवर किस तरह वापस जिंदगी के मुश्किल हालातों से लड़ती है और हार ना मानकर ये जंग जीतती है, वह सभी के लिए मिसाल है।– रोशन आरा

महिलाओं के जज्बे को सलाम
देश में जिस तरह से एसिड अटैक की घटनाएं बढ़ी हैं और उन महिलाओं को क्या-क्या सहना पड़ता है, ये एक आम आदमी सोच भी नहीं सकता था, लेकिन इस फिल्म ने उन महिलाओं के प्रति सोच बदलने पर मजबूर किया। इन महिलाओं के जज्बे को सलाम है। दीपिका ने अपनी एक्टिंग का लोहा मनवाया है।– स्नेहा जोशी
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