उदयपुर

दो सौ रुपए घूस के 11 साल पुराने मामले में डॉक्टर को जेल, मेडिकल रिपोर्ट बनाने के एवज में ली राशि

झाड़ोल चिकित्साधिकारी पद पर था आरोपित, एक साल की सजा के साथ चार हजार रुपए जुर्माना

उदयपुरAug 24, 2017 / 01:29 am

Mohammed illiyas

उदयपुर. मेडिकल रिपोर्ट बनाने के एवज में आदिवासी गरीब से दो सौ रुपए घूस लेने के आरोपित चिकित्सक को न्यायालय ने एक वर्ष की कैद व चार हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।
 

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भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की टीम ने गत 12 अक्टूबर 2006 को झाड़ोल तहसील मुख्यालय स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्साधिकारी हाल भूपालपुरा (उदयपुर) निवासी डॉ. चंदरकुमार पुत्र भोलाराम मूलचंदानी को झाड़ोल निवासी किशनलाल मीणा से दो सौ रुपए रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था। आरोपी ने ये रुपए रिश्वत मेडिकल रिपोर्ट बनाने के नाम पर लिए थे। आरोप पत्र पेश होने पर लोक अभियोजक गणेश शंकर तिवारी ने 17 गवाह व 36 दस्तावेज पेश किए तथा दलील दी कि आरोपी ने सरकारी नौकरी में हुए तीन माह तक निजी चिकित्सालय में काम कर वहां से भी वेतन उठाया। विशेष न्यायाधीश सेशन न्यायालय (भ्रष्टाचार निवारण मामलात) के पीठासीन अधिकारी सुनील कुमार पंचोली ने आरोपी चिकित्सक को भ्रष्टाचार की विभिन्न धाराओं में एक-एक वर्ष की कैद व दो-दो हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।
 

 

ब्यूरो की टीम ने की थी कार्रवाई 

चिकित्सक ने मेडिकल रिपोर्ट बनाने के एवज में एक गरीब आदिवासी से दो सौ रुपए की घूस ली थी। जिस पर भ्रष्टचार निरोधक ब्यूरो की टीम ने गत १२ अक्टूबर २००६ को झाड़ोल तहसील मुख्यालय स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्साधिकारी उदयपुर के भूपालपुरा निवासी डॉ. चंदर कुमार पुत्र भोलाराम मूलचंदानी को गिरफ्तार किया था। भ्रष्टाचार ब्यूरो निरोधक की टीम ने आरोपित चिकित्सक को परिवादी झाड़ोल निवासी किशनलाल मीणा से दो सौ रुपए रिश्वत की राशि लेते पकड़ा था। आरोप पत्र पेश होने पर लोक अभियोजक गणेश शंकर तिवारी ने १७ गवाह व ३६ दस्तावेज पेश किए तथा दलील दी कि आरोपी ने सरकारी नौकरी में हुए तीन माह तक निजी चिकित्सालय में काम कर वहां से भी वेतन उठाया। जिस पर न्यायालय ने आरोपित को एक साल की सजा के साथ चार हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।
यह था मामला
गत 11 अक्टूबर 2006 को किशनलाल मीणा ने ब्यूरो में चिकित्सक के विरुद्ध शिकायत की थी कि उसके छोटे भाई अम्बालाल मीणा के साथ देवीलाल थावरचंद व रूपलाल ने मारपीट की। शरीर पर गंभीर चोटें आने पर वह पुलिस की तहरीर लेकर चिकित्सक डॉ. चंदरकुमार के पास मेडिकल करवाने गया। चिकित्सक ने रिपोर्ट बनाने के एवज में 200 रुपए की रिश्वत की मांग की। सत्यापन में पुष्टि होने के बाद टीम ने उसे धर दबोचा।

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