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बेघर होकर भटक रही मां और तीन बेटियां, नम आंखों से गिड़गिड़ाती रही सबके सामने मगर…

locationउदयपुरPublished: Dec 09, 2017 10:45:21 am

Submitted by:

Mohammed illiyas

उदयपुर. नम आंखों से वह पुलिस के सामने गिड़गिड़ाती रही।

mother and 3 daughter in trouble udaipur
उदयपुर . नम आंखों से वह पुलिस के सामने गिड़गिड़ाती रही। गोद में नन्ही बेटी सहित तीन बेटियों को लेकर वह पहले अंबामाता थाने और फिर फतहपुरा पुलिस चौकी की चौखट पर बिलबिलाती रही। यह सोचकर कि उसके पति की प्रताडऩा को सुनकर पुलिस शायद उसे इंसाफ दिला दे, लेकिन पुलिस को उसकी बेबसी पर जरा भी तरस नहीं आया। मकान पर पति के ‘आक्रोश का ताला’ लगा होने के कारण वह सर्द रात में दर-ब-दर भटकती रही। थकहार कर युवा बेटी के साथ उसने पीहर में शरण ली।
यह दु:ख भरी कहानी है परशुराम कॉलोनी, नीमचखेड़ा निवासी जेरा पत्नी केजार हुसैन का। परिवार में कुछ अनबन और कहासुनी के बाद पहले तो जेरा को पति की मार का दर्द सहना पड़ा। आए दिन पति की प्रताडऩा से बचने के लिए उसने पुलिस की शरण में जाने की बात कही तो पति सुबह 11 बजे घर पर ताला जडकऱ गायब हो गया। उसका फोन भी स्विच ऑफ बताता रहा।
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पीडि़ता का आरोप है कि उसकी कोख से लगातार तीन बेटियों का होना, उसके लिए अभिशाप बन गया है। उसके पति को वंश चलाने के लिए बेटा चाहिए और उसके नसीब में बेटा नहीं है। बस! इस बात को लेकर उसे पति के होते हुए भी दूसरों के घर पर रात बितानी पड़ रही है। पीडि़ता ने जतन संस्थान के प्रतिनिधियों से भी मदद की आस जताई। संस्था प्रतिनिधि ओम प्रकाश गायरी इन्हें लेकर न्याय दिलाने के लिए भटकते रहे।
ऑनलाइन पहुंचे संस्था तक
पीडि़ता के साथ उसकी बड़ी बेटी पहले पुलिस के पास गए। बाद में ऑनलाइन एनजीओ का नंबर तलाशा, जहां सूचना के बाद संस्था प्रतिनिधि उसे न्याय दिलाने के लिए इधर-उधर चक्कर काटते रहे। रात करीब 8 बजे संस्था प्रतिनिधियों ने पीडि़ता के कहने पर उसे पीहर तक पहुंचाया।

बड़ी बेटी टॉपर
पीडि़ता की सबसे बड़ी 19 वर्षीय बेटी अब तक के परीक्षा परिणामों में टॉपर की सूची में रही है। स्नातक करने के बाद उसने विधि शिक्षा के लिए दाखिला लिया। अब एक साल बाद उसकी लॉ की डिग्री भी पूरी होने वाली है। इसी तरह 14 वर्षीय बेटी भी पढ़ाई में होशियार है।
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