शाम को सबसे पहले सूचना उत्तर मंडल के डीएफओ ओपी शर्मा को मिली। शर्मा ने वन क्षेत्र दक्षिण मंडल का होने से डीएफओ अजय चित्तौड़ा को सूचित किया और साथ के साथ अपनी टीम भी भेज दी। चित्तौड़ा ने क्षेत्रीय वन अधिकारी महेन्द्र सिंह चुंडावत के साथ टीम भेजी। शाम करीब साढ़े छह बजे से लेकर रात दस बजे तक वन विभाग की टीम ने गुलाबबाग के कई भागों में तथा नवलखा महल के आसपास जाकर देखा लेकिन कई पैंथर नहीं दिखा न कोई संकेत मिले।
पक्की सडक़े तो पग मार्क कैसे मिले
वन विभाग ने पैंथर के पग मार्ग को लेकर भी कोशिश की लेकिन गुलाबबाग में पक्का निर्माण, टाइल्स लगी तो डामर की सडक़ें होने से पग मार्क तो नहीं दिखे। वैसे टीम ने समोर बाग के गेट वाले इलाके में पूरी जानकारी जुटाई लेकिन कुछ नहीं मिला।
कुछ ही कदमों पर पैंथर घूमते माछला मगरा वन क्षेत्र पैंथर जोन है। यह इलाका गुलाबबाग से कुछ ही कदमों पर है। बताते है कि माछला मगरा वन खंड आगे दूधतलाई जलबुर्ज से लेकर आगे सीसारमा व बांकी का जंगल आ जाता है, पैंथर का माछला मगरा से लेकर आगे बांकी खंड तक विचरण रहता है, साथ के साथ पिछोला झील में प्यास भी बुझाता है।
शहरी क्षेत्र में पहले भी आया पैंथर
– पैंथर जलबुर्ज और पाला गणेशजी मंदिर के पास भी पूर्व में आया है। – रानी रोड पर राजीव गांधी पार्क में भी पैंथर आ चुका है।
– प्रतापनगर चौराहा से आगे ढीकली की आबादी बस्ती में भी पैंथर आया था, तब बच्चें खेल रहे थे।
– चित्रकूट नगर क्षेत्र में सडक़ों पर भी पैंथर की धमक हुई, वन विभाग ने कई दिनों तक टीमें लगाई।
– सुखाडिय़ा विवि कैम्पस में जो कर्मचारियों के आवास है उस तरफ भी पैंथर को देखा गया था।
– ट्रांसपोर्ट नगर स्थित नाकोड़ा नगर में भी पैंथर सीसी टीवी कैमरें में आबादी क्षेत्र में कैद हुआ।
– शिकारवाड़ी क्षेत्र में आबादी क्षेत्र में पैंथर कैमरें में कैद हुआ।
इनका कहना है… शाम को जैसे ही सूचना मिली हमने टीम को मौके पर भेज दिया। टीम ने रात तक वहां रुक कर सब कुछ देखा लेकिन ऐसा कुछ नहीं मिला। लोगों ने जैसा बताया उसके अनुसार टीम ने जांच भी की। हमारी टीम निगरानी रख रही है।
– अजय चित्तौड़ा, उप वन संरक्षक (दक्षिण)