READ MORE : लोकसभा चुनाव को लेकर एसडीएम व डीवाईएसपी ने अधिकारियों को दिए निर्देश पत्रकारिता विभाग के सहायक आचार्य डॉ कुंजन आचार्य ने कहा कि विज्ञान पत्रकारिता सरल और सहज भाषा में होनी चाहिए। तकनीकी दक्षता और तकनीकी निर्भरता के दौर में पत्रकारिता के माध्यम से वैज्ञानिक तथ्यों को आम पाठक तक पहुंचाने के लिए पत्रकार और पत्रकारिता दोनों को अब पहले से अधिक सजग होने की जरूरत है।
सवाल-जवाब से शांत हुई जिज्ञासाएं वर्कशॉप में प्रश्नोत्तरी सत्र में विशेषज्ञों ने विज्ञान पत्रकारिता के विविध पहलुओं से जुड़े प्रश्नों के जवाब दिए। साथ ही नैनो टेक्नोलॉजी, अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी, सूचना प्रौद्योगिकी जैसे नए विषयों के बारे में भी बताया। इस दौरान सांइस फैकल्टी व शोधार्थी सहित विभिन्न संकायों के विद्यार्थी मौजूद रहे। इस मौके पर वैज्ञानिक दृष्टिकोण के एडिटर तरुण कुमार जैन, बोटनी विभागाध्यक्ष प्रो. कनिका शर्मा, गीतांजलि हॉस्पिटल में निश्चेतना विभागाध्यक्ष डॉ. सुनंदा गुप्ता, एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. जीएस देवड़ा ने भी विचार व्यक्त किए।