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सुरक्षा की ‘लाठी’ पर बेरोजगारी की चोट

locationउदयपुरPublished: Sep 16, 2019 12:18:12 pm

Submitted by:

Bhuvnesh

– प्रदेश में होमगाड्र्स के हाल- हजारों होमगार्ड के समक्ष रोजगार का संकट

सुरक्षा की ‘लाठी’ पर बेरोजगारी की चोट

सुरक्षा की ‘लाठी’ पर बेरोजगारी की चोट

भुवनेश पण्ड्या

उदयपुर. छोटे से लेकर बड़े मौकों पर सुरक्षा के लिए प्रशासन जिन्हें हमेशा याद करता है, वे ही होमगाड्र्स इन दिनों प्रदेश में बेरोजगारी की मार झेल रहे हैं। वर्तमान में राजस्‍थान गृह रक्षा विभाग में स्वयंसेवक यानी होमगाड्र्स के कुल 30714 सृजित हैं। 28206 सदस्‍य नियमित नामांकित है, जिनमें से केवल 10134 स्‍वयंसेवकों को ही विभिन्न स्थानों पर नौकरियां मिली है, जबकि 18 हजार 72 होमगाड्र्स बेरोजगार हैं।
होमगार्ड के जवान को पुलिस कांस्टेबल के समान ड्यूटी करने एवं वाहन चालक का कार्य करने पर 693 दैनिक डयूटी भत्ता एवं इनके अतिरिक्त ड्यूटियों के लिए 590 रुपए प्रतिदिन की दर से भत्ता देय है। स्‍वयंसेवक को 15 किमी दूरी पर नियोजित करने पर नियमानुसार पुलिस कॉस्टेबल के समान यात्रा भत्ता देय है। हर 5 वर्ष में एक बार वर्दी सेट, पेंट-शर्ट, बैल्‍ट, टोपी, जूते, मौजे, विसिल, लेनयार्ड भी दिया जाता है। इसके अलावा सामूहिक दुर्घटना बीमा राशि 1.50 लाख रुपए दी जाती है।
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बेरोजगारी का यह है कारण

होमगाड्र्स को मांगकर्ता विभागों एवं एजेंसी की मांग के आधार पर काम दिया जाता है। जिलों में नियोजन की सीमित मांग होने के कारण होमगाड्र्स को वर्षभर नियमित ड्यूटी नहीं मिल पा रही है। इसका मुख्य कारण विभिन्न एजेंसियां जिन सुरक्षाकर्मियों को लगाती है, वे दस से 12 हजार रुपए प्रतिमाह में मिल जाते हैं, जबकि होमगाड्र्स करीब 22 से 23 हजार रुपए मासिक मानदेय में लगाए जाते हैं। इसी प्रकार शहर से बाहरी क्षेत्र में जाने पर करीब 29 हजार रुपए चुकाने होते हैं।
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होमगाड्र्स की संख्या

उदयपुर 1049
अजमेर 1733

अलवर 1102
बाड़मेर 455

बांसवाड़ा 347
बारां 535

बीकानेर 1063
भरतपुर 926

भीलवाड़ा 824
बूंदी 529

चूरू 570
चित्तौडगढ़़ 791

दौसा 483
धौलपुर 412

डूंगरपुर 367
श्री गंगानगर 663
हनुमानगढ़ 482
जयपुर 3000

जालौर 273
जैसलमेर 403

झालावाड़ 439
झुंझुनूं 328

जोधपुर 2219
करौली 401

कोटा 1889
नागौर 696

पाली 757
प्रतापगढ़ 301

राजसमन्द 584
स.माधोपुर 595

सीकर 666
सिरोही 290

टोंक 509
बोर्डर होमगाडर््स
बाड़मेर 642

बीकानेर 637
श्रीगंगानगर 640

जैसलमेर 633
कुल 28233

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हमारा प्रयास रहता है कि हम ज्यादा से ज्यादा होमगाड्र्स को काम दिलाएं, ताकि वे बेरोजगार नहीं रहे। होमगाड्र्स सदस्‍य स्‍थायी कार्मिक नही हैं। अब हमारी प्रतियोगिता में बाजार में कई सुरक्षा एजेंसियां आ गई हैं। उदयपुर प्रदेश में दूसरे स्थान पर है। यदि सरकारी विभाग इन होमगाड्र्स को महत्व दे तो उन्हें रोजगार मिल सकता है।
प्रणय जसोरिया, डिविजन विंग कमांडर होमगाड्र्स उदयपुर
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