संचालन का नया ठेका नहीं होने के कारण कुछ महीनों से नगर निगम ही प्रमुख रूट पर 7-बस चला रहा था। कर्मचारियों के अनुसार उन्हें दो महीने से वेतन नहीं दिया जा रहा है। वेतन की मांग उठाने के बाद यूसीटीएसएल ने रविवार से बसों का संचालन ही बंद कर दिया है। हालांकि सोमवार को कर्मचारियों को वेतन की कुछ राशि दी गई है। कर्मचारियों का आरोप है कि सभी को पूरा वेतन नहीं दिया गया है और बसों का संचालन बंद होने से उन पर बेरोजगारी का संकट छा गया है। इस संबंध में निगम उपयंत्री व यूसीटीएसएल अधिकारी योगेंद्र पटेल से चर्चा करना चाही लेकिन वे उपलब्ध नहीं हुए।
कर्मचारियों ने सीईओ को पत्र लिखा
सिटी बस कर्मचारियों ने विभिन्न समस्याओं को लेकर यूसीटीएसएल सीइओ को पत्र लिखा है। इसमें कर्मचारियों ने नियमित वेतन नहीं मिलने, बसों का संचालन बंद होने, बसों का संधारण नहीं होने और देवासगेट बस स्टैंड से निजी बसों का अवैध संचालन होने से आ रही परेशानी का जिक्र किया है। कर्मचारियों ने समस्याओं का निराकरण करने की मांग की है। एेसा नहीं करने पर मुख्यमंत्री से मामले में चर्चा करने की चेतावनी दी है।
संचालन पर संकट बरकरार
सिटी बस संचालन को लेकर संकट बना हुआ है। पुरान ठेका समाप्त होने के बाद नगर निगम संचालन के लिए तीसरी बार निविदा जारी कर चुका है लेकिन इसमें किसी ने भी बस संचालन में रुचि नहीं दिखाई है। एेसे में महीनों बाद भी बसों का संचालन करने के लिए निगम को नया ऑपरेटर नहीं मिल सका है। पुराना ठेका निरस्त होने के बाद से निगम ही जैसे-तैसे कुछ बसों का संचालन कर रहा है जबकि अधिकांश बसें मक्सीरोड डीपो में धूल खा रही हैं। जो 7-8 बसें चुनिंदा रूट पर चल रही थीं, वे भी दो दिन से बंद पड़ी हैं।