पाले ने तबाह की फसल, अन्नदाता के माथे पर चिंता की लकीरें
प्रभावित हुई फसलों को लेकर की सर्वे की मांग

नागदा. गिरते तापमान के साथ विकासखंड के किसानों की पेरशानियां बढ़ती जा रही है। विकासखंड की सब्जियां, फसलें बुरी तरह प्रभावित हो रही है। शीत लहर ने मैथी, चना के फूलों को जला दिया है, तो लहसुन पौधों को पीला करना शुरू कर दिया है। बीती ही रात की बात करें तो क्षेत्र के लसुडिय़ा जयसिंह, रुपेटा, भड़ला, भाटीसुड़ा, पिपलौदा आदि स्थानों पर फसलों पर बर्फ की परत जमी हुई पाई गई। किसान ताबड़तोड़ में फसलों पर रासायनिक उवर्रकों का छिड़काव कर फसलों को बचाने की कोशिश कर रहे हैं। इधर पाले से प्रभावित हुई फसलों को लेकर जनप्रतिनिधियों ने सर्वे की मांग करने की आवाज तेज कर दी है।
इधर टीम गठित करने के लिए फोन पर चर्चा : पाले से प्रभावित होने वाली फसलों के सर्वे के लिए विधायक दिलीपसिंह गुर्जर ने जिला कलेक्टर व एसडीएम नागदा-खाचरौद से चर्चा कर फसल सर्वे कार्य किए जाने के लिए चर्चा की है, जिसके बाद कलेक्टर मनीषसिंह ने अनुविभागीय अधिकारी नागदा-खाचरौद को टीम गठित कर शीत लहर एवं पाला पडऩे से प्रभावित गांवों के किसानों का सर्वे कार्य प्रारंभ करने के आदेश दिए। गुर्जर ने कलेक्टर व एसडीएम से चर्चा कर रविवार दोपहर 12.30 बजे सर्किट हाउस नागदा में राजस्व अधिकारियों की आपातकालीन बैठक बुलाने की बात कही है। विधानसभा क्षेत्र के ग्राम सरवना, भीकमपुर, मालाखेडी, टुमनी, जलवाल, बड़ागांव, पचलासी, बुरानाबाद, कुम्हारवाड़ी, सिपाहेड़ा, संदला, लुहारी, सोनचिड़ी, पिपलौदा पंथ, सेकड़ी सुल्तानपुर, कडिय़ाली, चिरोला, बागेड़ी, अटलावदा, निनावटखेड़ा, निपानिया, गिदगढ़, भीमपुरा, अलसी, कलसी, बेरछा, बनवाड़ा, राजगढ़ आदि स्थानों पर फसलें प्रभावित हुई है।
प्रभावित क्षेत्र में पहुंचे पूर्व विधायक
शनिवार को पूर्व विधायक दिलीपसिंह शेखावत ने भाटीसुड़ा सहित अन्य गांवों में पहुंचकर फसलों का निरीक्षण किया। शेखावत ने ग्रामीणों को आश्वस्त करते हुए जिम्मेदारों से बात की। पूर्व विधायक ने कांग्रेस सरकार से मांग की है कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने पांच सौ रुपए का बोनस सोयाबीन व मक्का की फसल पर देने की घोषणा की है। कांग्रेस सरकार को चाहिए कि किसानों को संकट की खड़ी में तत्काल वह बोनस की राशि उनके खातों में डाले ताकि प्रकृति की मार से परेशान किसानों को तत्काल राहत मिल सके। इस दौरान शेखावत ने किसानों से चर्चा में कहा कि प्रशासन ने किसानों को चंबल नदी से पानी लेने से रोकने के लिए टीम का गठन कर दिया है। यदि ऐसा हुआ तो भाजपा किसानों के समर्थन में सड़क पर उतरकर आंदोलन करेगी।
रस्सी के उपयोग से बचाएं फसल
सीनियर डेवल्पमेंड ऑफिसर एसके मालवीय ने कहा कि किसानों को खेतों में दो लोगों की मदद से एक लंबी रस्सी को खेत के दोनों सिरों पर पकड़कर फसलों के पत्तियों के ऊपर से निकालना है। जिसके चलते पत्तियों पर जमा ओस व पौधों का पानी जमीन पर गिर जाएगा और फसलों पर पाला पडऩे का खतरा कम हो जाएगा। इसके अलावा खेतों की पाल पर धुआं करके भी फसलों को बचाया जा सकता है।
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