scriptशहर में प्रज्ज्वलित हुई गैस की पहली अखंड ज्योत | The first unbroken flame of gas lit in the city | Patrika News

शहर में प्रज्ज्वलित हुई गैस की पहली अखंड ज्योत

locationउज्जैनPublished: Mar 19, 2018 01:16:37 am

Submitted by:

Lalit Saxena

राजा विक्रमादित्य की नगरी में उन्हीं की स्मृति में अखंड ज्योत जलती रहेगी

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PNG gas,Emperor Vikramaditya,

उज्जैन ञ्च पत्रिका. राजा विक्रमादित्य की नगरी में उन्हीं की स्मृति में अखंड ज्योत जलती रहेगी। रविवार को रुद्रसागर स्थित त्रिवेणी संग्रहालय मुख्य द्वार पर इस अखंड विक्रम ज्योत को प्रज्ज्वलित किया गया। यह शहर की पहली अखंड ज्योत है जो गैस से जल रही है।
वर्ष प्रतिवदा पर विक्रम उत्सव अंतर्गत त्रिवेणी संग्राहलय में संवत प्रवर्तक सम्राट विक्रमादित्य की स्मृति में अखंड ज्योत प्रज्ज्वलित की गई। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा व अन्य ने अखंड ज्योत प्रज्ज्वलित की। इस ज्योत के लिए अवंतिका गैस कंपनी द्वारा पीएनजी गैस उपलब्ध कराई गई है। विधायक मोहन यादव ने कहा, उज्जैन में प्रशासनिक अकादमी भी खोली जाना चाहिए जो विक्रमादित्य की शासन पद्धति की शिक्षा प्रदान कर सके। कार्यक्रम में महाराजा विक्रमादित्य शोध पीठ निदेशक डॉ. भगवती लाल राजपुरोहित, इकबाल सिंह गांधी, अनिल जैन कालूहेड़ा,्र रूप पमनानी, जगदीश पांचाल, सचिन सक्सेना, अवंतिका गैस एजेंसी एमडी एचके श्रीवास्तव मौजूद थे। संचालन दिनेश दिग्गज ने किया। आभार सहायक निदेशक डॉ. प्रकाशेंद्र माथुर ने माना।
सीता मणी में बनें जानकी मंदिर
कार्यक्रम के दौरान राष्ट्रीय उपाध्यक्ष झा ने कहा, मेरा जन्म सीता मणी में हुआ है। यह वह स्थान है, जहां मां सीता का जन्म हुआ था। वर्तमान में वहां छोटी सी कुटिया है। राम मंदिर का विषय तो कोर्ट में है लेकिन सीता जन्म स्थली को ऐसा कुछ नहीं है। वहां क्यों नहीं मां जानकी का भव्य मंदिर बनना चाहिए। राज्य सभा में भी यह विषय उठाया था। अब २४ अप्रैल जानकी नवमी पर जगदगुरु रामभद्राचार्य के नेतृत्व में नितिश कुमार लगभग १५० करोड़ रु. से मंदिर के जीर्णोद्धार की नींव रखेंगे। उन्होंने संस्कृति से जुड़े रहने को वास्तविक राष्ट्रवाद कहा।
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महाकाल में बीम संधारण कार्य पूर्ण
उज्जैन ञ्च पत्रिका. महाकालेवर मंदिर में मुख्य द्वार पर क्षतिग्रस्त छत की बीम का संधारण पूर्ण हो गया है। मंदिर प्रबंध समिति के सहायक प्रशासनिक अधिकारी दिलीप गरूड़ ने बताया कि बीम क्षतिग्रस्त होने से २५० रु.सशुल्क शीघ्र दर्शन के दर्शनार्थियों के प्रवेश-निर्गम में परिवर्तन किया गया था। छत के संधारण का कार्य पूर्ण हो चुका है। शीघ्र दर्शन में निर्गम मार्ग को जल्द से जल्द चालू कर दिया जाएगा।

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