scriptचयन बोर्ड से मिला था नियुक्ति पत्र…अब सीएम के आदेश पर मुकदमा दर्ज | CM order, FIR against half a dozen college management | Patrika News

चयन बोर्ड से मिला था नियुक्ति पत्र…अब सीएम के आदेश पर मुकदमा दर्ज

locationउन्नावPublished: Apr 26, 2022 08:25:29 pm

Submitted by:

Narendra Awasthi

उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड प्रयागराज द्वारा नियुक्ति पत्र दिया गया था। लेकिन कॉलेज प्रबंधन द्वारा कार्यभार ग्रहण नहीं कराया गया। शिकायत मुख्यमंत्री तक पहुंची तो प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मच गया। डीआईओएस ने आधा दर्जन कालेज प्रबंधन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है।

चयन बोर्ड से मिला था नियुक्ति पत्र...अब सीएम के आदेश पर मुकदमा दर्ज

चयन बोर्ड से मिला था नियुक्ति पत्र…अब सीएम के आदेश पर मुकदमा दर्ज

टीजीटी परीक्षा बात करने और चयन बोर्ड से नियुक्ति पत्र मिलने के बाद भी प्रबंध तंत्र ने कार्यभार ग्रहण नहीं कराया। अभ्यर्थी कॉलेज से लेकर डीआईओएस कार्यालय के चक्कर लगा रहे थे। लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। इस पर महिला अभ्यर्थी ने मुख्यमंत्री दरबार में पहुंचकर शिकायत की। मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन को तत्काल नियुक्त करा कर जानकारी देने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री का आदेश आते ही प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मच गया। डीएम ने डीआईओएस को तत्काल शेष बचे सभी को नियुक्त कराने का निर्देश दिया। नियुक्ति न कराए जाने पर डीआईओएस ने आधा दर्जन कॉलेज प्रबंधन के खिलाफ संगत धाराओं में मुकदमा दर्ज करा दिया।

 

मुख्यमंत्री के आदेश और डीएम के निर्देश के बाद भी आधा दर्जन कॉलज प्रबंधन ने अभ्यर्थियों की नियुक्ति नहीं किया। डीआईओएस की तहरीर पर रवि शंकर मिश्र प्रबंधक डीसी के एम इंटर कॉलेज उन्नाव, जितेंद्र बहादुर सिंह आरबीएस इंटर कॉलेज बिहार, उर्मिला सिंह भगवान बक्श सिंह इंटर कॉलेज वाजिदपुर उन्नाव, मनोज प्रताप सिंह महात्मा गांधी इंटर कॉलेज पाटन, इंदू सिंह प्रबंधक स्वामी विवेकानंद इंटर कॉलेज निहाली खेड़ा, कृष्णानंद अवस्थी प्रबंधक आदर्श इंटर कॉलेज पाठकपुर असोहा के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। जिनके खिलाफ आईपीसी की धारा 188 और 332 के अंतर्गत मुकदमा दर्ज कराया गया है जिला विद्यालय निरीक्षक राजेंद्र कुमार पांडे ने यह मुकदमा दर्ज कराया है। इसके साथ ही उन्होंने डीएम,एसपी, सीडीओ को भी संबंध में जानकारी दी है।

खूब दौड़ाया गया

आपको बता दें नियुक्ति पत्र निर्गत होने के बाद भी अभ्यर्थियों को उपरोक्त प्रबंधकों की तरफ से उन्हें दौड़ाया जा रहा था। कार्यभार नहीं दिया जा रहा है। इस संबंध में अभ्यर्थियों ने जिला विद्यालय निरीक्षक के साथ डीएम को भी शिकायती पत्र दिया था। इसके बाद भी कोई कार्यवाही नहीं हुई। अभ्यर्थी मुख्यमंत्री से शिकायत करने पहुंचे। मुख्यमंत्री के फोन के बाद जिला प्रशासन की आंखें खुली और आनन फानन आज आधा दर्जन प्रबंधकों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया।

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