यूपी में लगातार सीएए के विरोध प्रदर्शन में जेल जाने वालों और मृतकों के परिजनों से मुलाकातें कर रहीं प्रियंका गांधी ने 10 जनवरी यानि एक दिन पहले शुक्रवार को बनारस में जेल भेजे गए बीएचयू के छात्रों और एनजीओ के लोगों से मुलाताक की, जिसके दूसरे दिन शनिवार को मायावती ने ट्वीट कर उनपर निशाना साधा। बहनजी के ऑफिशियन ट्विटर हैंडल से एक के बाद एक लगातार तीन ट्वीट आए, जिनमें सीधे प्रियंका गांधी को निशाना बनाया गया। उन्होंने प्रियंका गांधी की इन मुलाकातों को को घड़ियाली आंसुओं की संज्ञा देते हुए यहां तक लिख डाला कि बसपा किसी भी मामले में कांग्रेस व बीजेपी समेत पार्टियों की रह दोहरा मानदंड अपनाकर घटिया राजनीति नीं करती।
उन्होंने प्रियंका गांधी को एक मां होने की याद दिलाते हुए उनपर कटाक्ष किया है कि आप थोड़ा समय कोटा के बच्चों की मांओं को देना उचित नहीं समझतीं। बहनजी ने कहा है कि देश में हर तरफ किसी न किसी मामले को लेकर हिंसा, तनाव और अशान्ति आदि वयाप्त है, लेकिन ऐसे वक्त में भी दूसरी पार्टियों की तरह कांग्रेस बदलने को तैयार नहीं।
बताते चलें कि प्रियंका गांधी की मुलाकातों पर यूपी के योगी आदित्यनाथ उनके मंत्री और बसपा स्रुप्रीमो शुरुआत से ही हमलावर हैं। कोटा में बच्चों की मौत की खबर के बाद मायावती ने प्रियंका को वहां जाने की सबसे पहले नसीहत दी थी। इसके अलावा डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने तो यहां तक कह दिया कि प्रियंका को दंगाइयों और उपद्रवियों की फिक्र है, मरते बच्चों और उनके परिवारों की नहीं।