जिलाधकारी कौशल राज शर्मा ने बताया की पश्चिम बंगाल और छत्तीसगढ़ के यात्रियों के लिए भी उनकी सरकार से बातचीत चल रही है। जल्द ही उन्हें भी गृह जनपद भेजने का प्रबंध किया जाएगा। उन्होंने बताया की जो लोग जाना चाहें वो अपने थाना इलाके में पहुँचकर अपना आधार कार्ड मोबाइल नंबर नाम पता आदि नोट कराकर रजिस्ट्रेशन करा लें ताकि उन्हें भेजा का सके। जैसे ही इन दोंनो राज्यों की सरकारों से बातें बन जाएंगी सभी को पहुंचाने का काम किया जाएगा।
राजस्थान झारखण्ड के लोग भेजे गए बता दें की श्रमिकों, विद्यार्थियों सहित राजस्थान और झारखंड के लोगों को रोडवेज की बसों से गुरूवार को उनके गृह जनपद भेजा गया। सम्पूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय परिसर और कैंट स्थित रोडवेज बस स्टैंड पर पहुंचे पंजीकृत श्रमिकों, छात्रों व अन्य यात्रियों का मेडिकल चेकअप व थर्मल स्कैनिंग करने के साथ ही उन्हें सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराते हुए उत्तर प्रदेश परिवहन निगम की बसों में बैठाया गया। झारखंड के 1432 लोगों को 47 बसों और राजस्थान के 300 लोगों को 11 बसों से उनके गृह जनपद भेजा गया। जिला प्रशासन ने बसों में 30-30 की संख्या में लोगो को भेजने का इंतजाम किया था।