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Narendra Modi Interaction: प्रधानमंत्री बोले, भारत के बड़े एक्सपोर्ट हब के रूप में विकसित होगी काशी

locationवाराणसीPublished: Jul 09, 2020 06:32:14 pm

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को वाराणसी के उन सामाजिक संगठनों के लोगों से संवाद (Narendra Modi Interaction) किया। जिन्होने लॉक डाउन और कोरोना संकट के बीच प्रशासन की मदद की और लोगों को भोजन उपलब्ध कराने के लिए आगे आए। उन्होंने कहा कि बनारस ने कोरोना संकट का डटकर मुकाबला किया।

Narendra modi

नरेंद्र मोदी

वाराणसी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी के उन संगठनों के समाज सेवियों और अन्न सेवियों से विडियो कान्फ्रेंसिंग के ज़रिये संवाद (Narendra Modi Interaction) किया जिन्होने लॉक डाउन के दौरान प्रशासन की मदद की और गरीबों को भोजन उपलब्ध कराने के लिये आगे आए। पीएम ने न सिर्फ उनके इस काम की तारीफ की बल्कि कहा कि वाराणसी के लोगों ने कोरोना संकट में जिस तरह काम किया है, उससे मुझे प्रेरणा मिलती है। इस दौरान उन्होने कोरोना संकट में सरकार की ओर से जनता के लिये किये गए कार्यों की जानकारी दी। वाराणसी में चल रहे विकास कार्यों का ज़िक्र करते हुए कहा कि काशी भारत के बड़े एक्सपोर्ट हब के रूप में विकसित होगी।

 

उन्होने कहा कि वर्तमान समय में काशी में लगभग 8 हज़ार करोड़ रुपए के अलग-अलग प्रोजेक्ट्स पर काम तेज़ी से काम चल रहा है। जब स्थितियां सामान्य होंगी तो काशी में पुरानी रौनक भी उतनी ही तेजी से लौटेगी। इसके लिए हमें अभी से तैयारी करनी होगी। सरकार के हाल के फैसलों के बाद यहां की साड़ियां, यहां के दूसरे हस्तशिल्प के लिए, डेयरी, मत्स्य पालन और मधुमखी पालन के व्यवसाय के लिए नई संभावनाओं के द्वार खुलेंगे। पीएम ने किसानों और युवाओं से आग्रह किया कि इस प्रकार के व्यवसाय में बढ़चढ़ कर भागीदारी सुनिश्चित करें। कहा कि हम सभी के प्रयासों से हमारी काशी भारत के एक बड़े एक्सपोर्ट हब के रूप में विकसित होगी। उन्होंने काशी के बुनकरों नाविकों, और व्यापारियों व कारोबारियों को आश्वस्त किया कि हमारा निरंतर प्रयास है कि सभी को कम से कम दिक्कत हो और बनारस भी आगे बढ़ता रहे।

 

वीडिया कांफ्रेंसिंग के दौरान गायत्री परिवार रचनात्मक ट्रस्ट के गंगाधर उपाध्याय, राष्ट्रीय रोटी बैंक की पूनम सिंह, सम्पूर्ण सिन्धी समाज सिगरा के सुरेन्द्र लालवानी, समाजसेवी अनवर अहमद व एचडीएफसी बैंक के मनोज टण्डन ने प्रधानमंत्री से सीधे संवाद कर अपने अनुभव साझा किया। उन्होंने अखिल भारतीय केशरवानी वैश्‍य युवक सभा के प्रतिनि‍धि संदीप केसरी से भी संवाद किया और लॉकडाउन के दौरान किए गए कार्यों की सराहना की।

 

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत, अमेरिका से भी दोगुनी आबादी से, एक पैसा लिए बिना उनका भरण-पोषण कर रहा है। 80 करोड़ से ज्यादा लोगों को मुफ्त राशन दिये जाने का ज़िक्र करते हुए कहा कि इसका बहुत बड़ा लाभ बनारस के भी गरीबों को, श्रमिकों को हो रहा है। अब यह योजना नवंबर अंत तक, यानि दीपावली और छठ पूजा तक बढ़ा दी गई है। हमारी कोशिश यही है कि किसी गरीब को त्यौहारों के समय में खाने-पीने की कमी ना हो। जनधन खाते में हजारों करोड़ रुपए जमा कराना हो या फिर गरीबों, श्रमिकों के रोजगार की चिंता, छोटे उद्योगों व रेहड़ी-ठेले लगाने वालों को आसान ऋण उपलब्ध कराना हो या खेती, पशुपालन, मछलीपालन और दूसरे कामों के लिए ऐतिहासिक फैसले, सरकार ने लगातार काम किया है।

 

कहा कि संक्रमण को रोकने के क्या कदम उठाए जा रहे हैं, अस्पतालों की स्थिति क्या है, कहां क्या व्यवस्थाएं की जा रही हैं, क्वारंटीन को लेकर क्या हो रहा है, बाहर से आए श्रमिक साथियों के लिए क्या प्रबंध हो रहे हैं, ये सारी जानकारियां मुझे मिल रही थीं।

 

कबीर के दोहे से काशी के सेवा भाव की प्रशंसा

पीएम मोदी ने कहा कि अभूतपूर्व संकट के समय में हमारी काशी ने इसका डटकर मुकाबला किया है। काशी पर मां अन्नपूर्णा का विशेष आशीर्वाद रहा है, यहां कोई भूखा नहीं सोएगा। तमाम संगठन एक तरह से मां अन्नपूर्णा और बाबा विश्वनाथ के दूत बनकर हर ज़रूरतमंद तक पहुंचे। गरीबों की सेवा का माध्यम बनना सौभाग्य की बात है। कम समय में फूड हेल्पलाइन और कम्यूनिटी किचन का व्यापक नेटवर्क तैयार करना, हेल्पलाइन विकसित करना, डेटा साइंस की मदद लेना, वाराणसी स्मार्ट सिटी के कंट्रोल एंड कमांड सेंटर का भरपूर इस्तेमाल करना, यानि हर स्तर पर सभी ने गरीबों की मदद के लिए पूरी क्षमता से काम किया।

 

आप सभी के लिए, तमाम संगठनों के लिए, हम सभी के लिए ये बहुत सौभाग्य की बात है कि इस बार गरीबों की सेवा का माध्यम भगवान ने हमें बनाया। एक तरह से आप सभी मां अन्नपूर्णा और बाबा विश्वनाथ के दूत बनकर हर ज़रूरतमंद तक पहुंचे।

 

कम समय में फूड हेल्पलाइन और कम्यूनिटी किचन का व्यापक नेटवर्क तैयार करना, हेल्पलाइन विकसित करना, डेटा साइंस की मदद लेना, वाराणसी स्मार्ट सिटी के कंट्रोल एंड कमांड सेंटर का भरपूर इस्तेमाल करना, यानि हर स्तर पर सभी ने गरीबों की मदद के लिए पूरी क्षमता से काम किया।

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