शिवपुर पुलिस ने किया गैंग का खुलासा, जानिए क्या है कहानी
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वाराणसी. फिल्म इंडस्ट्रीज में जाने के लिए तीन युवकों ने जरायम की दुनिया का रास्ता चुना और सपना पूरा होने से पहले ही पकड़े गये। शिवपुर पुलिस ने ऐसे तीन युवकों को पकडऩे में सफलता पायी है, जिन्होंने फिल्मी दुनिया में जाने के लिए फर्नीचर व्यवसायी से रंगदारी मांगी थी। मंगलवार को एसएसपी नितिन तिवारी ने पकड़े गये बदमाशों की जानकारी मीडिया से साझा की।
एसएसपी नितिन तिवारी के अनुसार 19 जून 2017 को शिवपुर शारदा विहार कालोनी निवासी व फर्नीचर व्यवसायी विजय गुप्ता से राजकुमार सिंह के नाम से 15 लाख की रंगदारी मांगी गयी थी। फर्नीचर व्यवसायी ने इसकी सूचना शिवपुर पुलिस को दी थी, जिसके बाद शिवपुर पुलिस मामले की जांच में जुट गयी थी। पहले से पुलिस ने बदमाशों की खोजबीन शुरू की थी, लेकिन सफलता नहीं मिलने पर सर्विलांस, एंटी थैफ्ट स्क्वाड व क्राइम ब्रांच की मदद ली गयी। अपराधी बेहद शातिर थे और वह जगह व नम्बर बदल-बदल कर व्यापारी से रंगदारी नहीं देने पर जान से मारने की धमकी देते थे। पुलिस ने बदमाशों को पकडऩे के लिए चक्रव्यूह तैयार कर लिया था और 2 जुलाई को रंगदारी का पैसा देने के लिए आईपी मॉल बुलाया। वहां पर भीड़ होने के कारण बदमाश पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ पाये। इसके बाद बदमाशों को रेलवे स्टेशन फिर लहरतारा बुलाया गया। दोनों ही जगह अंधेरे का लाभ उठा कर बदमाश भागने में कामयाब रहे। इसके बाद पुलिस को बदमाशों का सटीक लोकेशन मिला। पुलिस टीम जब तरना पुल पर पहुंची तो वहां पर बदमाश मिल गये। पुलिस ने उन्हें पकडऩे का प्रयास किया तो बदमाशों ने फायरिंग कर दी। बाद में मुठभेड़ के बाद बदमाश पकड़े गये। पूछताछ में बदमाशों ने अपना नाम शिवम, निवासी गाजीपुर के सैदपुर थाना क्षेत्र के विक्रमपुर, अतुल मिश्रा, निवासी लंका थाना के भगवानपुर व सौरभ शाही, निवासी थाना मुधबन, जिला मऊ के भैरोपुर बताया है। पुलिस ने बदमाशों के पास से घटना में प्रयुक्त मोबाइल, 315 बोर का तीन तमंचा, 7 कारतूस, एक खोखा, दो बाइक व पुलिस की फर्जी आईडी बरामद की है।
पुलिस पूछताछ में बदमाशों ने बताया कि उनका साथी सौरभ शाही के जीजा की दुकान फन फैशन के बगल में ही फर्नीचर व्यवसायी की दुकान है। तीनों बदमाश अक्सर फन फैशन में जाते थे और देखते थे कि फर्नीचर व्यवसायी के यहां पर अच्छी सेल होती है। इस पर तीनों के मन में फर्नीचर व्यवसायी से रंगदारी मांगने का विचार आया। रंगदारी मांगने की पूरी भूमिका अतुल मिश्रा ने बनायी थी और सौरभ शाही ने फर्नीचर व्यवसायी का नम्बर उपलब्ध कराया था, जबकि शुभम सिंह फोन पर बात कर व्यापारी को धमकी देता था। बदमाशों का लगा था कि उन्हें आराम से 15 लाख रुपये मिल जायेंगे और पांच-पांच लाख बांट कर वह फिल्मी दुनिया के लिए मुम्बई चले जायेंगे। बाद में बदमाशों का लगा कि उन्हें 15 लाख नहीं मिलेंगे तो रंगदारी की धनराशि घटा दी थी। बदमाशों को पकडऩे वालों में शिवपुर एसओ शिवानंद मिश्रा, एंटी थेफ्ट स्क्वायड के प्रदीप यादव आदि पुलिसकर्मी शामिल थे।