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टिकटों की घोषणा के बाद भाजपा में हो सकती है बगावत 

locationवाराणसीPublished: Jan 16, 2017 04:43:00 pm

Submitted by:

Awesh Tiwary

-भाजपा प्रवक्ता ने कहा पहली सूची थोड़ी देर में ,स्वामी नहीं नाराज 

yogi swami and ticket dispute

yogi swami and ticket dispute

आवेश तिवारी 
वाराणसी-भाजपा द्वारा ऊत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में उम्मीदवारों के ऐलान के बाद बड़ा अन्तर्कलह सामने आ सकता है । अब जबकि भाजपा की पहली सूची आने में कुछ देर का ही वक्त बाकी है योगी आदित्यनाथ से लेकर स्वामी प्रसाद मौर्या तक ने अपने अपने मोर्चे खोल दिए हैं ,खबर है कि सुल्तानपुर के सासंद वरुण गांधी भी अपने लोगों के लिए टिकट मांग रहे हैं। भाजपा प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने पूर्व विधानसभा अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्या और योगी की की किसी भी किस्म की नाराजगी से साफ़ इनकार किया है पार्टी सूत्रों की माने तो अगर भाजपा द्वारा हाल में शामिल हुए पार्टी नेताओं को पैनल में जगह नहीं दी जाती है तो पार्टी को इन विधानसभा चुनाव में बड़े भितरघात से जूझना पड़ सकता है। 

उत्तर प्रदेश विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्या द्वारा अपने उम्मीदवारों को टिकट न मिलने की स्थिति में भाजपा छोड़ कांग्रेस का दामन थामने की चर्चा ने सोमवार को और जोर पकड़ लिया,इधर भाजपा इसका खंडन करती रही उधर स्वामी प्रसाद मौर्या ने होठों पर चुप्पी साध रखी थी ।स्वामी प्रसाद मौर्या को लेकर पत्रिका से बातचीत में भाजपा प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने कहा कि हमने स्वामी प्रसाद मौर्या से बात की है उनकी नाराजगी की बात महज अफवाह है। उन्होंने बताया कि भाजपा की पहली सूची अब से थोड़ी देर में प्रकाशित की जाएगी। गौरतलब है कि पिछले दिनों बसपा से भाजपा में शामिल हुए स्वामी प्रसाद मौर्या द्वारा अपने नजदीकियों को टिकट दिलवाने के लिए लगातार दबाव डाले जाने की खबर आ रही है ,पार्टी सूत्रों कि माने तो राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह लेकिन पार्टी इसके लिए तैयार नहीं हुए ,वही योगी आदित्यनाथ और वरुण गांधी को लेकर पार्टी ने पहले से ही अपना रुख स्पष्ट कर रखा है। 

उत्तर प्रदेश में भाजपा के वरिष्ठ नेता सन 2007 विधान सभा चुनावों में योगी के हठ को आज भी याद करते हैं जब योगी आदित्यनाथ प्रदेश की 42 सीटो पर अपने उम्मीदवार चाहतें थे,इस बार भी योगी 40 सीटें मांग रहे हैं ,वही वरुण गांधी द्वारा 16 सीटों पर दावेदारी ठोंके जाने की खबर है । लेकिन तत्कालीन प्रदेशाध्यक्ष केशरीनाथ त्रिपाठी थे । योगी ने जो अपनी सूची तैयार की थी उस सूची में शामिल उम्मीदवारों को टिकट नहीं दिया गया । नतीजा यह हुआ कि योगी ने आडवाणी से मिलकर अपने 8 लोगो को टिकट दिलवा दिया और अन्य जगहों पर पार्टी के उम्मीदवारों के खिलाफ इन्होने हिन्दू महासभा से अपने समर्थक खड़ें करवा दिए.उन चुनावों में योगी के 7 प्रत्याशी जीतें। गोरखपुर सदर सीट से इनके समर्थन से हिन्दू महासभा के प्रत्याशी राधामोहन अग्रवाल जीतें और प्रदेशाध्यक्ष केशरीनाथ भी हार गए. केशरीनाथ के बाद भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष बने रमापतिराम त्रिपाठी,और उसके बाद प्रदेशाध्यक्ष बने सूर्यप्रताप शाही से उनकी रार किसी से छुपी नहीं। 2012 के विधानसभा चुनाव में रमापति के विधानसभा क्षेत्र सिसवा में तो हिन्दू युवा वाहिनी के कार्यकर्ताओं ने जुलूस निकालकर शाही व रमापति के पुतले फूंके दिए वही शाही जी के विधानसभा क्षेत्र पत्थरदेवा में अपना प्रत्याशी खड़ा करवा दिया। इस भीतरघात का नतीजा यह हुआ कि शाही अपनी विधानसभा से बाहर ही नहीं निकल पाए 



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