बतादें कि यूपी सरकार ने 21 फरवरी 2018 को लखनऊ के यूपी इन्वेस्टरर्स समिट में बनारस से लखनऊ, पटना, इलाहाबाद, कानपुर, गोरखपुर तक उड़ान के लिए एक समझौता किया था। इस समझौते के पांच महीने के भीतर ही इसे अमल में लाया जा सका और पीएचडी चेंबर आफ कामर्स एंड इंडस्ट्री ने इसकी मंजूरी दे दी है।
वाराणसी से लखनऊ तक का किराया बताया जा रहा है कि वाराणसी से लखनऊ तक की यात्रा के लिए यात्रियों को पांच से छह हजार रूपये तक खर्च करने होंगे। विभाग से जुड़े लोगों ने बताया कि महज पचास मिनट में ही बनारस से लखनऊ तक की दूरी तय कर ली जायेगी।
छह से दस घंट तक का लग रहा समय अभी ट्रेन और बस से वाराणसी लखनऊ यात्रा की बात करें तो किसी भी ट्रेन से जाने पर जहां छह से आठ घंटे तक का समय लग जाता है तो वहीं बस से यात्रा करने पर आठ से दस घंटे का वक्त लग जा रहा है। जिससे लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। ऐसे में सी प्लेन की यात्रा लोगों के लिए एक बेहतर आप्शन बन सकेगी।
सी प्लेन की विशेषता
बतादें कि सी प्लेन जमीन-पानी दोनों से उड़ान भर सकता है और लैंड कराया जा सकता है। यह प्लेन महज 300 मीटर के रनवे से उड़ान भर सकता है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं जहाजरानी मंत्री नितिन गडकरी ने 2015 में देश के 100 शहरों में सी प्लेन उड़ान की बात कही थी।
बतादें कि सी प्लेन जमीन-पानी दोनों से उड़ान भर सकता है और लैंड कराया जा सकता है। यह प्लेन महज 300 मीटर के रनवे से उड़ान भर सकता है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं जहाजरानी मंत्री नितिन गडकरी ने 2015 में देश के 100 शहरों में सी प्लेन उड़ान की बात कही थी।