मुख्य बाजार स्थित झंडा चौक पर सोमवार को जैन मुनि अभय सागर महाराज, प्रभात सागर महाराज और निरीह सागर महाराज ने गो कथा के माध्यम से गो का गुणगान किया। उन्होंने गो वंश का धार्मिक और वैज्ञानिक महत्व बताते हुए श्रद्धालुओं को गो संवर्धन के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि भगवान श्रीराम, भगवान श्रीकृष्ण और भगवान श्रीमहावीर स्वामी की पावन भूमि पर गो माता की दुर्दशा होना अति निंदनीय एवं विचारणीय हैं। पृथ्वी में जो महत्वपूर्ण तत्व पाए जाते हैं वह सारे के सारे तत्व गो माता के शरीर में पाए जाते हैं। इसलिए गौ माता की परिक्रमा को पृथ्वी परिक्रमा के समतुल्य माना जाता है। उन्होंने कहा कि गो माता के शरीर में 33 कोटि देवताओं का वास माना जाता है।
कार्यक्रम का शुभारंभर निधि कठरया और रूबी सिंघई ने मंगलाचरण से किया। इसके बाद मंडीबामोरा, गंजबासौदा और पठारी गोशाला समिति ने आचार्यश्री के चित्र का अनावरण किया। अभय सागर महाराज को शास्त्र भेंट करने का सौभाग्य राजेंद्र सिंघई, अशोक सिंघई परिवार को प्राप्त हुआ। जिन्होंने 15 हजार 515 रुपए की राशि दान की। प्रभात सागर महाराज को शास्त्र दान करने का सौभाग्य ताराचंद सुधीश कठरया परिवार को प्राप्त हुआ। जिन्होंने 11 हजार 111 रुपए की राशि दान की। निरीह सागर महाराज को शास्त्र भेंट करने का सौभाग्य अजय कठरया अतुल कठरया परिवार को प्राप्त हुआ। जिन्होंने 7 हजार 171 रुपए की राशि दान की। गोशाला के लिए 51-५१ हजार रुपए की राशि राकेश सिंघई और राजकुमार जैन मसुरयाई वालों ने दान में दी। वहीं 11 हजार रुपए की राशि अभिनंदन जैन ने भेंट की। जैन समाज की ओर से 7 हजार रुपए प्रतिमाह गोशाला के लिए दान दिया जाएगा। नरेंद्र जैन, हनी जैन जमुनिया परिवार ने आजीवन अपने खेत से निकलने वाला भूसा गोशाला के लिए दान देने का संकल्प लिया। इसके अलावा पूर्व में एक-एक लाख रुपए की राशि दान देने वाले जशवंत सिंह यादव, डॉ. सरित श्रीवास्तव, राहुल सिंघई, नितिन जैन और राजभान सिंह यादव को सम्मानित किया। गोशाला निर्माण की कुल लागत करीब 20 लाख रुपए बताई जा रही है। मंच संचालन गंजबासौदा के सतीश जैन और अहमेंद्र जैन ने किया। इस दौरान गंजबासौदा, मंडीबामोरा, कुरवाई, खुरई आदि क्षेत्रों से बड़ी संख्या में समाजजन मौजूद हुए।