बंदियों ने पर्यावरण के अनुकूल मिट्टी से भगवान श्री गणेश की प्रतिमा का निर्माण कर उसकी स्थापना की।
प्रतिमा का निर्माण हे छह बंदियों द्वारा किया गया, जिसमें सजावट और उत्सव की संपूर्ण तैयारियों में भी कैदियों की सक्रिय भागीदारी रही।
प्रतिमा स्थापना के बाद विधिवत पूजा-अर्चना, आरती और भजन-कीर्तन का आयोजन किया गया।
गणेश उत्सव के दौरान बंदियों ने स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण का संदेश भी दिया।