एक टीवी चैनल के मुताबिक एडवाइजर्स ब्लॉक में पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ ही उद्योगपति और एक्टिविस्ट भी होंगे। राहुल इसमें पी. चिदंबरम और गुलाम नबी आजाद जैसे वरिष्ठ नेताओं को भी शामिल करना चाहते हैं। इस ब्लॉक के जरिए वे सामूहिक नेतृत्व का उदाहरण पेश करना चाहते हैं। इस नई टीम का ऐलान 11 जून को होने वाले राज्यसभा चुनाव के बाद कभी भी किया जा सकता है। पार्टी की मौजूदा दिक्कतों को ध्यान में रखते हुए राहुल ने वेलफेयर रिफॉर्म्स और ट्राइबल राइट्स जैसे मुद्दे सुलझाने के लिए ही एडवाइजर्स ब्लॉक बनाने का सुझाव दिया है। राहुल का मानना है कि ये ब्लॉक पार्टी में नई जान फूंकेंगे।
गौरतलब है कि चार राज्यों के विधानसभा चुनाव में हुई कांग्रेस की हार के साथ ही पार्टी में बगावत के सुर उठने लगे थे। लेकिन अजीत जोगी के नई पार्टी बनाने और कामत के इस्तीफे के बाद बगावत के स्वर यकायक तेज हो गए है।