कोरोना संक्रमण रोकने के लिए रेल प्रशासन ने सभी ट्रेनें स्पेशल ट्रेनों के साथ होलि-डे स्पेशल, फेस्टिवल स्पेशल, हम सफर स्पेशल और क्लोन स्पेशल ट्रेनों के नाम से दौड़ा रहा है। इन ट्रेनों में सामान्य ट्रेनों की तुलना में 20 से 25 फीसदी तक किराया महंगा हो गया हो गया। जहां अहमदाबाद से लखनऊ का किराया सामान्य ट्रेनों में 560 रुपए था, जो फेस्टिवल स्पेशल ट्रेनों में करीब 625 रुपए तक वसूला जाता है। अहमदाबाद से जयपुर तक किराया जहां 340 से रुपए था, जो अब 380 रुपए है। गुजरात समेत देश के कई राज्यों में कोरोना का असर कम हुआ है। ऐसे में अब रेल यात्रियों में भी सामान्य ट्रेन चलाने की आवाज उठ रही है। हालांकि दीपावली व छठ पूजा को लेकर उत्तर भारत जाने वालों खासी भीड़ होती है, ऐसे में रेल प्रशासन ने कई फेस्टिवल स्पेशल चलाने की घोषणा की गई है। हालांकि डीजल महंगा होने से बसों के किराए में खासा इजाफा हो गया है। जहां निजी बसों में अहमदाबाद से जयपुर तक 500 रुपए लगते थे, अब यह किराया बढ़कर 700 से 800 रुपए तक हो गया है। दीपावली पर यह किराया पन्द्रह सौ रुपए तक हो सकता है।
एसटी भी वसूलेगा 25 फीसदी ज्यादा किराया
उधर, गुजरात राज्य सड़क परिवहन निगम भी दीपावली पर 1200 अतिरिक्त बसें चलाएगा, जिनमें पिछले वर्ष की तुलना में किराया के अलावा 25 फीसदी अर्थात् सवा गुना किराया वसूलेगा। परिवहन मंत्री पूर्णेश मोदी ने भी इसका खुलासा किया है। ये बसें सूरत से सौराष्ट्र और पंचमहाल तथा उत्तर गुजरात के लिए चलाई जाएंगी।
उत्तर भारत की ट्रेनों में भी लगे जनरल कोच अखिल भारतीय रेल उपभोक्ता संघ के अध्यक्ष योगेश मिश्रा ने कहा है कि दीपावली पर उत्तर भारत जाने वाले यात्रियों की संख्या ज्यादा होती है, ऐसे में इन ट्रेनों में भी जनरल कोच लगाए जाने चाहिए। वहीं निजी बस संचालक दीपावली जैसे त्योहारों पर मनमाफिक किराया वसूलते हैं। इन बस संचालकों पर लगाम लगाना चाहिए।