किसानों का कहना है कि इस बार आम की सभी प्रजातियां फूलों से लद गई हैं। दिसम्बर में पर्याप्त ठंडक व वातावरण से सभी किस्म के आम में मंजर आए है। कौंचा, दुधनी, नरोली, आंबोली, सुरंगी, खेरड़ी, खानवेल, रूदाना, किलवणी मे बड़ी संख्या में आम की वाडिय़ां हैं, जिसमें आम के पेड़ फूलों से ढक गए हैं। कृषि अधिकारियों ने बताया कि शीत ऋतु में अच्छी ठंडक के कारण आम के पेड़ों में जमकर पुष्पारण हुआ हैं। नवम्बर के बाद मौसम आम के अनुकूल बना हुआ है।
फरवरी तक आम के पेड़ो पर निषेचन की प्रक्रिया चलती है। आम 15 से 35 डिग्री सेल्सियय तापमान में जल्दी वृद्धि करता है। इसके लिए जिले की गहरी दोमट्ट मिट्टी उत्तम है। मिट्टी का पीएच 5.5-7.5 के बीच रहना चाहिए। जनवरी के बाद आंधी-बारिश की आशंका आम के निषेचन में प्रतिकूल असर डाल सकती है। आंधी चलने से पेड़ों पर लगे मंजर झड़ जाते हैं। मौसम ने अभी तक किसानों का पूरा साथ दिया है। पेड़ों पर कहीं भी रोग व कीटो का संक्रमण भी नहीं है। मौसम का साथ रहा तो अगेती आम अप्रैल तक बाजार में दिखाई देने लगेंगे। जिले में दशहरी, लंगड़ा, अलफांसों, सफेदा, तोतापुरी, बोम्बेग्रीन, चौसा, नीलम, मल्लिका, रत्ना, अर्का अरूणा, अर्का पुनीत के बाग हैं।