पुलिस की ओर से मनियां क्षेत्र में अवैध हथियार बनाने की दो फैक्ट्रियां पकड़ी है। पूछताछ में पता चला है कि अवैध देसी कट्टा बनाने के लिए सामान आगरा के बाजार से लेकर आते है। अवैध देसी कट्टा बनाने के लिए लोहे की नाल, ड्रिल मशीन, स्प्रिंग छोटी वाली, पीतल की छड़ें, रेंती, लोहा गर्म करने की मशीन, हथौड़ी, प्लास, पेचकस, बोल्ट, गाटर का टुकड़ा, लकड़ी के बट आदि की आवश्यकता होती है। एक देसी कट्टा बनाने में करीब एक हजार का खर्चा आता है। एक देसी कट्टा बनने के बाद बाजार में ३-४ हजार रूपए में बेचा जाता है। पुलिस ने गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ के बाद आगरा जिले के उन दुकानदारों को चिन्हित करने प्रयास शुरू कर दिए है। इसके अलावा पुलिस ने गिरफ्त में आए आरोपियों से पूछताछ कर अन्य हथियार तस्करों को चिन्हित करने के प्रयास शुरू कर दिए है।
चंबल क्षेत्र के धौलपुर में अवैध हथियारों का प्रचलन है। प्रदेश के छोटे जिले में शुमार धौलपुर में ही करीब साढ़े तीन हजार से अधिक शस्त्र लाइसेंसी हैं। युवा वर्ग अवैध हथियार रखने का शौकीन हो रहा है। बजरी माफिया के पुलिस पर फायरिंग की घटनाओं में अवैध देसी कट्टों से फायरिंग के कई मामले हो चुके हैं। प्रतिबंधित बजरी का परिवहन में देसी कट्टों का इस्तेमाल कर रहे है।