किस जिले में कितने अजमेर में 140,उदयपुर 73,भीलवाड़ा में 76, राजसमंद 33,चित्तौड़ 84 तथा प्रतापगढ़ में 698 , बांसवाड़ा 2642, डूंगरपुर 2128 तइलेक्ट्रिक मोटरों का सोलराइजेशन करते हुए बदला जाएगा। राजस्थान में 12 हजार 500 सौ बिजली की मोटरों को सोलर पम्पिंग सिस्टम के जरिए रिप्लेस किए जाने का लक्ष्य है। मुफ्त में सिंचाई के लिए बिजली मिलेगी। दिन में सिंचाई के लिए बिजली मिलेगी। अतिरिक्त बिजली बनाकर ग्रिड को भेजते है तो उसके बदले आरईआरसी द्वारा निर्धारित दर पर राशि मिलेगी। इस योजना में 3 एचपी की क्षमता वाले पम्प पर 5 किलोवाट, 5 एचपी की क्षमता वाले पम्प पर 10 किलोवाट तथा 7.5 एचपी की क्षमता वाले पम्प पर 15 किलावाट का सौर ऊर्जा संयंत्र लगाया जाएगा।
किसान को देना होगा 10 फीसदी हिस्सा किसान के कुंए पर लगी इलेक्ट्रिक मोटर को सोलर पैनल से बदला जाएगा। किसान को सोलर पैनल के लिए खर्च होने वाली कुल राशि का 10 फीसदी देना होगा। जबकि 30 फीसदी राशि केन्द्र व 30 फीसदी राशि राज्य सरकार देगी। 30 प्रतिशत राशि निगम किसान को ऋण के रूप में उपलब्ध करवाएगा। सोलर पैनल लगाने के बाद इसकी राशि 3 साल में वसूल हो जाएगी। ठेकेदार कम्पनी 5 साल तक इसकी मेंटीनेंस करेगी।
पायलट प्रोजेक्ट हो चुका है सफल प्रतापगढ़ के सेलरापुर पायलट प्रोजेक्ट अजमेर डिस्कॉम ने पायलट प्रोजेक्ट के रूप में प्रतापगढ़ जिले के सेलारपुर फीडर के 19 कुंओं पर लगी बिजली की मोटरों को सोलर पैनल से परिवर्तित करते हुए सोलराईजेशन किया जा चुका है। जाएगा।