आरएएस 2021 में राजस्थान पुलिस सेवा के 77 पद शामिल हैं। इनमें सामान्य श्रेणी के 31, सामान्य महिला केे 13, अनुसूचित जाति सामान्य-10, अनुसूचित जाति महिला-3, अनुसूचित जनजाति सामान्य-7, अनुसूचित जनजाति महिला-3, ईडब्ल्यूएस सामान्य-5, महिला-2, एमबीसी सामान्य-3, ओबीसी-शून्य, अराजपत्रित अधिकारी-5, भूतपूर्व सैनिक के 3 पद शामिल हैं। कार्मिक विभाग के वर्गीकरण में ओबीसी वर्ग में एक भी पद शामिल नहीं है।
आरएएस 2012 (कुल पद 52): ओबीसी सामान्य-8, ओबीसी महिला-2,
आरएएस 2013 (कुल पद 46): ओबीसी सामान्य-7, ओबीसी महिला-2,
आरएएस 2016 (कुल पद 67): ओबीसी सामान्य-10, ओबीसी महिला-4,
आरएएस 2018 (कुल पद 36): ओबीसी सामान्य-5, ओबीसी महिला-1,
कार्मिक विभाग ने आरएएस 2021 के वर्गीकरण में दिव्यांगों के महज 31 पद शामिल किए हैं। जबकि नियमानुसार 4 प्रति आरक्षण से 39 पद होने चाहिए। संसद से पारित नि:शक्त व्यक्तियों के अधिकार अधिनियम-2016 की धारा-34 में सरकारी सेवाओं में नि:शक्त व्यक्तियों के लिए न्यूनतम 4 प्रतिशत पद आरक्षित रखने का प्रावधान है। आरक्षण कैडर क्षमता के आधार पर तय किया जाना है। केंद्र सरकार ने 2017 में कानून भी बनाया है।
कार्मिक विभाग के आरएएस 2018 के वर्गीकरण में दिव्यांगों के 31 पद थे। इनमें राज्य सेवा में 14 तथा अधीनस्थ सेवा में 17 पद थे। इसी तरह आरएएस 2016 के वर्गीकरण में राज्य सेवा में 8 और अधीनस्थ सेवा में 11 पद थे। जबकि आरएएस 2013 के वर्गीकरण में राज्य सेवा में 11और अधीनस्थ सेवा में 20 पद शामिल थे।
आरएएस एवं अधीनस्थ सेवा भर्ती-2021 की अधिसूचना के बिंदू संख्या 8 (क-2) में कहा गया कि 12 जुलाई 2021 की कार्मिक विभाग की अधिसूचना अनुसार राजस्थान सिविल सेवा (भूतपूर्व सैनिकों का आमेलन) नियम-1988 के तहत अन्य राज्यों के पूर्व सैनिकों को भी देय होगा। यानि दूसरे राज्यों के पूर्व सैनिक भी फॉर्म भरकर भर्ती परीक्षा में बैठ सकेंगे। इस मामले ने तूल पकड़ लिया। मामला न्यायालय की दहलीज तक पहुंचता। ऐसे में आयोग प्रशासन ने आवेदन प्रक्रिया को ही रोक दिया। आयोग को 28 जुलाई से शुरू होने वाली ऑनलाइनआवेदन प्रक्रिया स्थगित करनी पड़ी।