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VC trap case: नहीं हुई अर्जी पर बहस, 5 नवंबर तक टली सुनवाई

एसीबी ने 2.20 लाख की घूस राशि के साथ किया था ट्रेप। गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली याचिका पहले ही खारिज हो चुकी है।

अजमेरOct 23, 2020 / 08:01 pm

raktim tiwari

mdsu VC case

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अजमेर.

महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय के घूस प्रकरण में निलंबित कुलपति रामपाल सिंह की जमानत अर्जी पर शुक्रवार को सुनवाई नहीं हो सकी। अब अर्जी पर 5 नवम्बर को सुनवाई होगी। आरोपित की ओर से गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली याचिका पहले ही खारिज हो चुकी है।
कुलपति आवास पर 7 सितंबर को एसीबी ने आरोपित रणजीत सिंह को आरोपित महिपाल सिंह से सुरेश की कॉलेज राहुल मिर्धा इंजीयिरिंग कॉलेज झुंझाला को परीक्षा केंद्र बनाने की एवज में 2.20 लाख रुपए लेते पकड़ा था। आरोपित रामपाल सिंह के लिए राशि लेने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है। रिश्वत राशि मांग का सत्यापन परिवादी एस.के. बंसल और निलंबित कुलपति रामपाल के मध्य 25 जून 2020 को आमने-सामने विश्वविद्यालय में ही वार्ता से किया गया। इसका उल्लेख प्राथमिकी में है।
नहीं हो पाई बहस
निलंबित कुलपति रामपालसिंह ने विशेष अदालत में वकील अजय वर्मा की ओर से जमानत अर्जी लगाई गई है। शुक्रवार को इस पर बहस नहीं हो पाई। अब अर्जी पर 5 नवंबर को सुनवाई रखी गई है। इससे पहले 12 अक्टूबर को भी विशेष अदालत में जमानत अर्जी पर बहस टल गई थी।
यह याचिका पहले ही खारिज
रामपाल सिंह ने गिरफ्तारी पूर्व अधिनियम की धारा 17 के प्रावधानों की पालना नहीं करने की आपत्ति लगाते हुए खुद को शिक्षक और कुलपति जैसे सम्मानित पद पर होना बताया। एसीबी ने अधिनियम की हवाला 17 (क) का हवाला देकर बताया कि किसी व्यक्ति को अपने लिए या अन्य व्यक्ति के लिए असम्यक लाभ प्राप्त करने या करने की कोशिश के आरोप में मौके से ही गिरफ्तार किया जाता है। तो ऐसी स्थिति में सक्षम अधिकारी से पूर्व अनुमोदन जरूरी नहीं है। इस आधार पर अदालत ने रामपाल की याचिका खारिज की थी।

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