धारीवाल ने कलक्ट्रेट सभागार में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट की समीक्षा बैठक में कहा कि प्रोजेक्ट के कार्यों की रफ्तार को बढ़ाया जाएगा। जिस तरह से काम होना चाहिए था वह नहीं हुआ। उन्होंने म्यूजिकल फाउंटेन सहित अन्य प्रोजेक्ट बंद करने के निर्देश दिए।
ढाई साल में 15 काम
मंत्री धारीवाल ने कहा कि ढाई साल में केवल 15 काम हुए इन पर 18 करोड़ खर्च किए गए। ढाई साल में क्या किया, प्रोजेक्टों डीपीआर तैयार क्यों नही की। उन्होंने कहा कि रटा रटाया जवाब नहीं चलेगा।
कुछ बड़ा करो स्मार्ट सिटी के अफसरों ने कहा कि हम 42 प्रोजेक्ट पर काम कर रहे हैं। इस पर मंत्री ने नाराजगी जताते हुए कि इनमें से अधिकतर प्रोजेक्ट दो ढाई करोड़ के ही है। मंत्री ने कहा कि पार्कों में झूले लगाने से आगे बढ़ो और कुछ बड़ा करो। सेंविग का बचा हुआ पैसा अन्य प्रोजेक्ट पर खर्च किया जाए।
समय से पूरे होंगे काम स्वायत्त शासन विभाग के शासन सचिव भवानी सिंह देथा ने बताया कि शहर में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत समस्त कार्य समयबद्धता के साथ पूर्ण कराने का प्रयास किया जाएगा ताकि आमजन को इसका लाभ मिल सके। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं नगर निगम की आयुक्त चिन्मयी गोपाल ने प्रोजेक्ट के तहत पूर्ण हो चुके कार्यों, प्रगतिरत कार्यों, निविदाधीन कार्यों तथा डीपीआर निर्माणाधीन कार्यों की जानकारी दी। एडीए आयुक्त गौरव अग्रवाल ने एडीए की विभिन्न योजनाओं की प्रगति एवं प्रस्तावित योजनाओं के संबंध में जानकारी दी। बैठक में जिला कलक्टर विश्व मोहन शर्मा, जिला पुलिस अधीक्षक कुंवर राष्ट्रदीप,उपवन संरक्षक सुदीप कौर,उपखंड अधिकारी डॉ.अर्तिका शुक्ला तथा स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के अधिकारी उपस्थित थे।
पाल बीसला में बनेगा एलिवेटेड रोड
पत्रकारों से बातचीत में मंत्री धारीवाल ने कहा कि श्रीनगर से तोपदड़ा तक एलिवेटेड रोड की डीपीआर तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं। शहर में पेयजल की समस्या के समाधान के लिए 49 करोड़ प्रोजेक्ट के तहत व्यय होगे। इससे नागफणी, मिस्त्री मोहल्ला सहित संबंधित क्षेत्रों में पेयजल की समस्या का समाधान होगा। स्मार्ट सिटी के तहत अब तक हुए कार्य की सोशल ऑडिट करवाने के सवाल को मंत्री टाल गए।
मंत्री को दी बर्ड फेयर की जानकारी पुष्कर रोड विश्रामस्थली में बनाई गई नई चौपाटी के निरीक्षण के दौरान इस दौरान अधिकारियों ने मंत्री शांति धारीवाल को बताया कि झील के किनारे राजस्थान पत्रिका की ओर से हाल ही तीन दिवसीय बर्ड फेयर का आयोजन किया गया। इसमें शहरवासियों ने बढ़चढ़कर लिया। मंत्री ने इस पर प्रसन्नता जताते हुए झील के किनारे बॉटेनिकल पार्क, लॉन आदि विकसित करने के निर्देश दिए। स्मार्ट सिटी के अधिकारियों ने बताया कि विश्रामस्थली के पुराने ढांचो को गिराया नहीं जाएगी। यहां घास व ऐसे प्राकृतिक स्ट्रक्चर बनाए जाएंगे जिससे पक्षी बैठ सकें। झील के बीच में बदरंग व जर्जर हो चुके ढांचे व पुराने टॉयलेट ब्लॉक को गिराकर आईलैंड बनाए जाएंगे जिससे पक्षियों को वेटलैंड उपलब्ध होगा।