खुद कलक्टर भी चिंता जता चुके गत दिनों राजस्व अधिकारियों की बैठक में खुद जिला कलक्टर जल स्वावलंबन के कार्यों में देरी पर चिंता जता चुके हैं। जिला कलक्टर का कहना था कि कुछ ही महीनों बाद बारिश शुरू होने वाली है, ऐसे में अब तक योजना के कार्यों का शुरू नहीं हो पाने से तय समय में जल स्रोतों के कार्य पूरा हो पाना संभव नहीं लगता।
करीब 68.50 करोड़ के होने हैं कार्य जल स्वावलंबन योजना के तहत तृतीय चरण में 68.50 करोड़ रुपए के कार्य कराए जाने हैं। हालांकि सरकार की ओर से योजना के लिए बजट की समस्या नहीं है। आगामी जून माह के अंत में जिले में मानसून आने की संभावना है, ऐसे में संदेह है कि कहीं बारिश में योजना की राशि न बह जाए।
किनको कितने कार्य हैं कराने जल स्वावलंबन के तहत 9 विभागों को 6 हजार 275 कार्य कराने हैं। इनमें वाटरशेड को 3877, पंचायती राज को 41, जल संसाधन को 30, वन विभाग को 584, ग्रामीण विकास विभाग को 429, कृषि को 922, उद्यान को 212, जलदाय विभाग को 153 एवं ग्राउंड वाटर विभाग को 24 कार्य कराने हैं। सभी कार्य 30 जून तक पूरे कराने होंगे।
औद्योगिक घरानों को सौंपे 63 कार्य योजना के तहत करीब एक करोड़ की लागत से 63 कार्य विभिन्न औद्योगिक घरानों को सौंपे गए हैं। ये औद्योगिक घराने सीएसआर के तहत इन कार्यों को कराएंगे।