बैठक में निंदा प्रस्ताव पारित किया गया कि बंद के दौरान अलवर में हिंसा करने वाले लोगों के खिलाफ मुकदमे दर्ज कराई जाए। यदि पीडि़त व्यापारियों को मुआवजा नहीं दिया गया तो आंदोलन तेज किया जाएगा। बैठक में एक जनसेना बनाने का निर्णय किया गया जिसमें व्यापारिक संगठन व आम लोग भी होंगे। इसके लिए 21 सदस्यो की समिति बनाने की जिम्मेवारी जुनेजा व गुप्ता को सौंपी गई है। पूर्व महामंत्री दीनदयाल शर्मा ने बताया कि इसमें कई समाज के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इसमें निलेश खंडेलवाल, सुरेश गुप्ता, प्रमोद विजय रामावतार सिंह चौहान, बंटी सरदार, दिनेश रावत, महेश सेठी, महेश खंडेलवाल, महेश सेठी, राकेश शर्मा व अशोक अवस्थी सहित कई पदाधिकारियों ने विचार व्यक्त किए। बंद समर्थकों की ओर से कराया गया जबरन बंद और तोडफ़ोड़ से व्यापारियों में रोष है। अलवर कृषि उपज मंडी में करोड़ों का एक दिन में होने वाला व्यापार नहीं हो पाया। इस बारे में व्यापारियों ने अपनी प्रतिक्रिया इस प्रकार व्यक्त की।
सुरक्षा व्यवस्था कड़ी करने की मांग अलवर. विश्व हिन्दू परिषद् की ओर से मंगलवार को विभाग अध्यक्ष सुभाष अग्रवाल के नेतृत्व में जिला कलक्टर को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा गया। इसमें भारत बंद के दौरान हुई तोड़-फोड़, मारपीट, लूटपाट एवं आगजनी की घटनाओं से अवगत कराते हुए जिम्मेदार प्रशासनिक अधिकारियों के विरूद्ध कार्रवाई करने तथा भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए जाने की मांग की गई। विहिप के जिला मंत्री गिरधारी मिश्रा ने बताया कि बंद के दौरान उपद्रवियों की ओर से गर्भवती महिलाओं एवं लड़कियों के साथ मारपीट व अभद्र व्यवहार किया गया। उप्रदवियों की भीड़ ने सार्वजनिक सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाने के साथ ही बेगुनाह दुकानदारों के साथ मारपीट की।