राष्ट्रीय बाघ प्राधिकरण (एनटीसीए) की ओर से रणथंभौर नेशनल पार्क में बाघों की बढ़ती संख्या के चलते छह बाघ-बाघिनों को अन्य पार्कों में शिफ्टिंग को हरी झंडी दी है। इनमें एक बाघ व एक बाघिन सरिस्का में भिजवाना प्रस्तावित है। एनटीसीए की मंजूरी के बाद अब सम्बन्धित पार्कों से बाघ शिफ्टिंग के प्रस्ताव भेजे जाएंगे। सरिस्का से भी बाघ-बाघिन के एक जोड़े की शिफ्टिंग के लिए प्रस्ताव भिजवाने की जरूरत होगी।
sariska tiger news सरिस्का के लिए जरूरत भी सरिस्का बाघ परियोजना के लिए युवा बाघ-बाघिन के जोड़े की सख्त जरूरत है। इसका कारण है कि सरिस्का में ज्यादातर बाघ-बाघिन उम्रदराज हैं। इनमें बाघ एसटी-6 की उम्र 14 साल से ज्यादा हो चुकी है। इस बाघ की पूंछ के पास घाव होने से सरिस्का प्रशासन की चिंता बढ़ गई है। वहीं बाघिन एसटी-2 व 3 सहित अन्य बाघ-बाघिन भी 13-14 साल की उम्र पार कर चुके हैं। ऐसे में सरिस्का में इन दिनों युवा बाघ व बाघिन की सख्त जरूरत है। पिछले जून माह में बाघ एसटी-16 की हीट स्ट्रोक से मौत के बाद सस्किा में युवा बाघ की जरूरत और बढ़ गई है।
sariska tiger news पहले भी युवा बाघ-बाघिन लाने की मिल चुकी मंजूरी सरिस्का में बाघ-बाघिन का जोड़ा शिफ्ट करने की एनटीसीए पहले भी मंजूरी दे चुका है। राज्य की पिछली सरकार के दौरान तत्कालीन वन मंत्री सरिस्का में युवा बाघ-बाघिन का जोड़ा भिजवाने की बात कह चुके हैं। वहीं एनटीसीए भी मंजूरी दे चुका है। हालांकि इसी साल रणथंभौर से एक युवा बाघ एसटी-16 की सरिस्का में शिफ्टिंग की गई थी, लेकिन उसकी कुछ दिनों बाद ही सरिस्का में मौत हो गई थी।
सरिस्का में युवा बाघ की जरूरत सरिस्का में युवा बाघ की जरूरत है। उच्चाधिकारियों से रणथंभौर से बाघ लाने के निर्देश मिलने पर वहां से बाघ लाने की कार्रवाई की जाएगी।
सेढूराम यादव डीएफओ, सरिस्का बाघ परियोजना