पुलिस ने खुद किया मामला दर्ज : पुलिस ने तुरंत एक्शन लेते हुए बालिका के बयान लिए। इसके बाद बालिका के परिजनों को बुलाया। सीडब्ल्यूसी के समक्ष उनकी काउंसलिंग कराई गई, लेकिन काउंसलिंग के दौरान भी परिजनों ने एफआइआर दर्ज कराने से इनकार कर दिया। इसके बाद पुलिस ने स्वयं प्रसंज्ञान लेकर बालिका के बयानों के आधार पर पोक्सो एक्ट की धाराओं में मामला दर्ज कर अनुसंधान शुरू कर दिया है।
मास्टर ट्रेनर को मिलेगा रिवार्ड : उक्त मामले का खुलासा करने पर पुलिस की सेल्फ डिफेंस ट्रेनिंग की मास्टर ट्रेनर महिला कांस्टेबल हीरा बाई और महेश्वरी को एडीजी (विजीलेंस) बीजू जॉर्ज जोसफ ने रिवार्ड देने को कहा है।
ई-मित्र की दुकान पर काम करता है आरोपी बालिका के साथ जब यह घटना हुई थी तब उसकी उम्र करीब 8-9 साल थी। उस दौरान आरोपी हलवाई की दुकान पर काम करता था और अब वह ई-मित्र की दुकान पर काम करता है। जिसकी उम्र करीब 21-22 साल है। घटना के दौरान आरोपी नाबालिग था।
इस कारण पुलिस द्वारा आरोपी को निरुद्ध किया गया है। अभिभावकों को अपने बच्चों की बातों को ध्यान पूर्वक सुनना चाहिए और उन पर विश्वास करना चाहिए। बच्चों के साथ फ्रेंडली माहौल रखें। ताकि बच्चा हर बात उनसे शेयर कर सके। यदि बच्चों की बातों को अनसुना किया जाता है तो वह उनके साथ घटित ऐसी गंभीर घटना से डिप्रेशन में भी आ सकते हैं।
– तेजस्वनी गौतम, एसपी, अलवर।