अंबिकापुर. कांग्रेस के भारत बंद आह्वान का सरगुजा संभाग में भी असर देखने को मिला। संभाग मुख्यालय अंबिकापुर में नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव के नेतृत्व में कांग्रेसियों ने दुकानें बंद रखने व्यापारियों से समर्थन मांगा। इसके लिए पार्टी पदाधिकारियों के साथ नेता प्रतिपक्ष शहर में करीब 2 किलोमीटर तक पैदल चले।
भारत बंद को देखते हुए कई व्यापारियों ने स्वस्फूर्त दुकानें बंद रखी थीं तो कई दुकानों के शटर आधा खुले रहे। इस दौरान टीएस सिंहदेव ने डीजल-पेट्रोल व रसोई गैस के दामों में हर दिन बेतहाशा हो रही वृद्धि को लेकर मोदी सरकार को आड़े हाथों लिया।
उन्होंने कहा कि भाजपा कार्यकाल के इन 54 महीने में देश की अर्थव्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई है। उन्होंने कहा कि दोपहिया वाहन चलाने वाले युवा व छात्रों से लेकर सामान का परिवहन करने वाले व्यापारियों की जेब से भी भाजपा सरकार रुपए निकाल रही है।
भारत बंद के कांग्रेस के आह्वान पर अंबिकापुर की दुकानें भी बंद रहीं। छत्तीसगढ़ विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव ने पार्टी पदाधिकारियों के साथ मिलकर शहर में पैदल भ्रमण कर दुकानदारों से समर्थन मांगा। भारत बंद का असर स्कूल, कॉलेजों व पेट्रोल पंपों पर भी देखने को मिला।
इधर नेता प्रतिपक्ष ने केंद्र की भाजपा सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि पिछले चुनाव के दौरान भाजपाइयों ने कहा था कि यूपीए को आपने 60 साल दिए, हमें 60 महीने दें। इसमें से 54 महीने बीत गए। इस दौरान पेट्रोल-डीजल व रसोई गैस के दामों में बेतहाशा वृद्धि हुई।
अप्रैल 2014 में जब यूपीए की सरकार अपदस्थ हुई थी तो अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेज की कीमत 117 डॉलर प्रति बैरल थी जो अब 73 डॉलर प्रति बैरल हो गई है। इन 54 महीनों में पेट्रोल की कीमत 9 रुपए, डीजल की 16 रुपए तथा रसोई गैस की कीमत 400 रुपए बढ़ाकर 11 से 12 लाख करोड़ रुपए देश के उपभोक्ताओं की जेब से निकाल लिए। इस दौरान सीतापुर विधायक अमरजीत भगत, डीसीसी अध्यक्ष बालकृष्ण पाठक, प्रदेश प्रवक्ता जेपी श्रीवास्तव समेत काफी संख्या में कांग्रेसी शामिल थे।
देश की घोषित नीति से हटकर कर रहे काम टीएस सिंहदेव ने कहा कि देश की घोषित नीति ये थी कि जब अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेज की कीमत बढ़ेंगीं या घटेंगीं, देश में उसी हिसाब से पेट्रोल और डीजल का दाम घटेगा या बढ़ेगा, लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है। उन्होंने कहा कि 11 से 12 लाख करोड़ रुपए उपभोक्ताओं से लेने वाली ये सरकार ऐसे देश को चला रही है जहां के लोग पहले ही जीएसटी व नोटबंदी की मार झेल रहे है। ऐसे में उनके सामने आमदनी का जरिया नहीं रह गया है।
अर्थव्यवस्था पर भारी असर नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि देश द्वारा किए जा रहे निर्यात में कमी आई है जबकि आयात बढ़ गया है। ऐसे में देश की अर्थव्यवस्था पर भारी असर पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल के दाम बढऩे से जहां कॉलेज जाने वाले छात्रों की जेब से पैसे निकल रहे हैं, वहीं डीजल के दाम बढऩे से व्यापारियों को अपने सामान को मंगाने जेब ढीली करनी पड़ रही है।
पेट्रोल-डीजल पंप बंद रहने से वाहन चालक रहे परेशान भारत बंद के कारण पेट्रोल-डीजल पंप बंद रहने से वाहन चालकों को काफी परेशानी उठानी पड़ी। पेट्रोल पंप पर वाहनों की भीड़ देखी गई। कई लोग अपनी दोपहिया वाहन लेकर पैदल चलते नजर आए। इसके अलावा दुकानें बंद रहने से लोगों को त्यौहार के सीजन में सामान की खरीदारी करने में भी परेशानी हुई।