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अनूपपुर

जाने: आखिर संविदाकर्मियों ने क्यों जलाई सरकार के आदेश की प्रतियां

जाने: आखिर संविदाकर्मियों ने क्यों जलाई सरकार के आदेश की प्रतियां

अनूपपुरMar 13, 2018 / 08:36 pm

shivmangal singh

Go: Why the contract workers were burnt, copies of government orders
काम पर वापसी के आदेश प्रतियों को जला स्वास्थ्य संविदाकर्मियों ने जताया विरोध
अपनी तीन सूत्री मांगों में आशा उषा सहयोगिनी की हजारो कार्यकर्ताएं रैली निकाल कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन
अनूपपुर। जिले में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की दो सूत्री मांगों को लेकर चल रही अनिश्चितकालीन हड़ताल में १२ मार्च को अनिश्चिकालीन हड़ताली कर्मचारियों ने ८ मार्च को शासन द्वारा संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों से १२ मार्च तक काम पर वापसी नहीं तो सेवा समाप्ति की चेतावनी में जारी आदेश की प्रतियों को जलाकर विरोध प्रदर्शन किया। साथ रैली निकाल नगर भ्रमण करते हुए सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। वहीं संविदा कर्मचारियों ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन मध्यप्रदेश सरकार द्वारा जारी आदेश में १२ मार्च तक दिए गए कार्य स्थल पर वापसी नहीं तो अनुपस्थिति की दशा में कार्य के प्रति कर्मचारियों की रूचि नहीं मानते हुए सेवा समाप्ति की जारी आदेश पर जबतक शासन द्वारा उनकी मांगे पूरी नहीं हो जाती, तबतक कार्य पर वापसी नहीं होने की घोषणा की है। संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ जिला अध्यक्ष शाजिद खान का कहना है कि इससे पूर्व वर्ष में भी कर्मचारियों की अनिश्चिकालीन हड़ताल पर सरकार ने मांगों पर आश्वासन देने के बाद मुकड़ गई और हम कर्मचारियों की १९ दिवसीय हड़ताल को अवैध मानते हुए अवैतनिक घोषित कर दी थी। वहीं १९ फरवरी से जारी हड़ताल के २२ वें दिन अब आदेश पत्र जारी कर हमें यह बताती है कि १२ मार्च तक कार्य स्थल पर नहीं लौटे तो आपकी अनुपस्थिति यह मानी जाएगी कि आपके कार्य के प्रति रूचि नहीं है और मानव संसाधन मेनुअल के तहत अनुबंध पत्र के आधार पर सेवा समाप्ति मानी जाएगी। उनका कहना है जैसे-जैसे कर्मचारियों में आक्रोश पनपने के साथ शासकीय कार्य प्रभावित हो रही है, वैसे-वैसे सरकार अपनी नई आदेश नीतियों का दवाब बनाकर हमें कमजोर करना चाहती है। विदित हो कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन मध्यप्रदेश शासन द्वारा ८ मार्च को मुख्य प्रशासनिक अधिकारी डॉ. ब्रजेश सक्सेना एनएचएम मध्यप्रदेश द्वारा आदेश जारी करते हुए संविदा स्वास्थ्यकर्मियों को अपने कार्यस्थल पर उपस्थित होने के सम्बंध में आदेश जारी किए गए थे। जिसे अब संविदा स्वास्थ्यकर्मियों ने मानने से इंकार कर अनिश्चिकालीन हड़ताल जारी रखने के बात कही है। विदित हो कि संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों की मुख्य दो सूत्री मांगों में संविदाकर्मियों को नियमितीकरण तथा अप्रेजल के तहत हटाए गए संविदाकर्मियों की वापसी के साथ अप्रेजल प्रथा को समाप्त करने की मांग शामिल है।
ेवहंी दूसरी ओर स्वास्थ्य सेवाओं से जुड़ी तथा ८ मार्च से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर बैठी आशा उषा सहयोगिनी संगठन ने सोमवार १२ मार्च को हजारों की तादाद में जिला मुख्यालय में एकत्रित होकर अपनी तीन सूत्री मांगोंं में रैली निकालते हुए कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा। रैली इंदिरा तिराहा से आरम्भ होकर रेलवे फाटक, सामतपुर चौराहा होते हुए कलेक्ट्रेट परिसर पहुंची। जहां मुख्यमंत्री के नाम सौंपे गए ज्ञापन में आशा एवं सहयोगिनी कर्मचारियों को शासकीय कर्मचारी मान्य दिए जाने, आशा कार्यकर्ताओं को प्रत्येक गांव के आरोग्य केन्द्र पर नियुक्ति किए जाने,आशा सहयोगिनी को १५ हजार, आशा कार्यकर्ताओं को १०हजार को मानदेय दिए जाने की मांग शमिल हैं।
बॉक्स: न्यू बहुद्देशीय कर्मचारियों ने भी निकाली रैली
सोमवार को शासन की मांगों पर अनेदखी को लेकर संविदा स्वास्थ्यकर्मियों सहित, न्यूबहुद्देशीय स्वास्थ्य कर्मचारी संघ तथा आशा उषा सहयोगिनी कार्यकर्ताओं ने एक साथ विशाल रैली निकालकर नगर भ्रमण किया तथा सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। तीनों ही संगठनों ने जबतक मांगे पूरी नहीं होती, काम पर वापसी से मनाही कर दी है।
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