शहर में जेल के पीछे स्थित कॉलोनी में रहने वाले शिक्षक अमोलसिंह पुत्र तोरनसिंह लोधी को आठ अप्रैल को अज्ञात नंबर से फोन आया और ट्रू कॉलर पर वह नंबर बैंक मैनेजर नाम से दर्ज था। फोन करने वाले अज्ञात व्यक्ति ने खुद को एसबीआई का बैंक मैनेजर कहकर एटीएम कार्ड बंद होने की बात कही और एटीएम पर दर्ज नंबरों को पूछा, साथ ही मोबाइल पर आए ओटीपी को पूछ लिया। इससे शिक्षक के खाते से 45 हजार रुपए कट गए।
शिक्षक अमोलसिंह ने एसपी पंकज कुमावत से मामले की शिकायत की, तो एसपी ने सायबर सैल को कार्रवाई के निर्देश दिए। सायबर सेल ने एटीएम की जानकारी ली तो पता चला कि फोनपे प्राईवेट लिमिटेड, डिजिटल गोल्ड इंडिया सहित तीन गेटवे से ऑनलाइन खरीदारी और राशि ट्रांसफर हुई है। इससे टीम ने उस ट्रांसफर को रुकवा दिया। साथ ही राशि शिक्षक के खाते में वापस करवा दी है। एसपी ने सायबर सेल प्रभारी संजय गुप्ता, दीपकसिंह बैस और प्रशांत भदौरिया को पुरस्कृत करने की घोषणा की है।
यहाँ , इंटरसिटी के आगे लेटा राजस्थान का युवक, रुकी रही ट्रेन
अशोकनगर. दोपहर के समय अचानक एक युवक भोपाल जाने वाली इंटरसिटी के आगे रेलवे ट्रेक पर लेट गया। ड्राईवर ने ट्रेक पर युवक को लेटा देखकर ट्रेन रोक दी और आरपीएफ को सूचना दी। तब तक ट्रेन वहीं पर रुकी रही। बाद में आरपीएफ ने युवक को वहां से हटाया। इसके बाद ही ट्रेन रवाना हो सकी।
मामला गुरुवार को दोपहर के समय का है। ग्वालियर-भोपाल इंटरसिटी भोपाल की तरफ जाने के लिए अशोकनगर स्टेशन पर रवाना हुई तो ओवरब्रिज के पास रेलवे ट्रेक पर युवक लेट गया। आरपीएफ एएसआई नरसीलाल मीणा ने बताया कि 34 वर्षीय वह युवक राजस्थान के सीकर जिले के पलसाड़ा तहसील का रहने वाला है और उसका नाम राजेंद्र पुत्र गिरधारीलाल है।
एएसआई के मुताबिक युवक राजेंद्र की मानसिक हालत ठीक नहीं है, इससे वह घर से भाग गया और रात को ही उसके परिजन उसे ढूंढते हुए शहर में आए थे, कोई जानकारी न मिलने से वह चले गए थे। लेकिन जब वह रेलवे ट्रेक पर लेटा तो उसे आरपीएफ ने पकड़कर थाने में बिठा लिया और परिजनों को सूचना दी।