न्याय व्यवस्था में बदलाव जरूरी बीते हफ्ते शीर्ष न्यायाधीश ने कहा था कि उन्होंने पाकिस्तान में मानवता की बेहतरी के लिए न्यायिक सक्रियता की नींव रखी है। निसार ने कहा कि लोगों को उस तरह न्याय नहीं मिल पा रहा है,जैसे पहले मिलता था। गौरतलब है कि साकिब निसार ने उस पीठ की अध्यक्षता की थी जिसने भ्रष्टाचार के मामले में 2017 में प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को अयोग्य करार दिया था। उन्होंने कहा कि खुली अदालतें लगाना शुरू करने के बाद से मैंने कई ऐसे परेशान लोगों को देखा, जिनके पास दवा खरीदने तक के लिए भी पैसे नहीं होते।
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