विश्व हिंदू परिषद मुख्यालय कारसेवकपुरम से धर्मयात्रा महासंघ के संयोजन में अयोध्या से जनकपुर के लिए बाजे गाजे के साथ राम बारात रवाना हुई। यात्रा में अयोध्या संत समिति के अध्यक्ष महंत कन्हैया दास दशरथ ,दिगंबर अनी के मंत्री महंत वैष्णो दास महर्षि वशिष्ठ तथा हरिद्वार सिद्ध पीठ हनुमान मंदिर के महंत डॉक्टर वैष्णोदास महर्षि विश्वामित्र की भूमिका में भगवान श्री राम व तीनों भाइयों के स्वरूप की पूजा कर निकाली गई। तो वहीं सैकड़ों राम भक्त भगवान के इस राम बारात में डीजे की धुन पर नाचते गाते निकले। अयोध्या के कारसेवकपुरम, मणिराम दास छावनी से मुख्य मार्ग होते हुए जनकपुर के लिए रवाना हुई इस यात्रा में दो रथ और 1 दर्जन से अधिक वाहन भी शामिल हुए। यात्रा में कई पड़ाव के बाद 28 दिसंबर को जनकपुर पहुंचेंगी। और 1 दिसंबर को श्री राम विवाह सम्पन्न कराया जाएगा। वहीं इस दौरान 108 गरीब कन्याओं का भी विवाह होगा।
इस यात्रा की अगुवाई कर रहे विहिप के केंद्रीय मंत्री राजेन्द्र सिंह पंकज ने बताया कि भगवान श्री राम के जन्म से लेकर के जीवन पर्यंत की जितनी भी लीलाएं हैं वह मंगलमयी है लेकिन प्रभु श्री राम के विवाह महामंगलमयी है लेकिन इस बार मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त हो गया यह दोनों खुशियां एक साथ लोगों को व्यक्त करने का अवसर यह बरात दे रही है इस साथ ही भारत और नेपाल के सांस्कृतिक संबंधों को सुधारने और नवयुवकों को प्रभु श्री राम की मर्यादा और उनके जीवन के प्रसंगों से अवगत करने का प्रयास है। वह बताया कि इस दौरान 1100 कन्याओं का पूजन कर पाठ्य सामग्री भेंट की जाएगी और 108 कन्याओं का विवाह का आयोजन किया जाएगा।
इस दौरान दशरथ की भूमिका निभा रहे अयोध्या संत समिति के अध्यक्ष महंत कन्हैया दास ने कहा कि अयोध्या से जनकपुर यह श्री राम बारात देश में सुख शांति समृद्धि के लिए निकाली जाती है। ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट फैसला के बाद आज राम बरात अयोध्या से निकाली गई है इस बारात में शामिल होने से पहले रामलला का दर्शन पूजन किया गया है आज अयोध्या का उत्साह सैकड़ों वर्षो के बाद रामलला कैद से आजाद हुए हैं। वही बताया कि त्रेता युग के बाद कलयुग में भगवान श्री राम लला को पहली बार दूल्हा के रूप में देखकर अयोध्यावासी आनंद विभोर हो रहे हैं इस वर्ष निकलने वाली बारात मैं बड़े उत्साह के साथ राम भक्त व संत शामिल हुए हैं और जिस प्रकार सुप्रीम कोर्ट ने राम मंदिर के पक्ष में फैसला आया है तो लगता है कि आज वर्षो बाद रामलला दूल्हा बनकर जनकपुर जा रहे हैं।