अध्यक्ष रामकिशुन निषाद ने कहा कि, रोडवेज भवन बनकर तैयार है। जिसमें बसों के पार्किग की भी व्यवस्था है, लेकिन क्षेत्रीय प्रबंधक और चालकों की मनमानी के चलते बसों को रोडवेज तिराहे पर बेतरतीब खड़ी किया जा रहा है। जिससे आये दिन कोई न कोई घटना होती रहती है। शासन के शख्त निर्देश के बाद भी प्रेशर हार्न का प्रयोग किया जाता है। बगैर लगेज के निगम की बसों से आने वाले सामानों को रोडवेज के पूर्वी गेट से खुलेआम उतारा जाता है। जिसका सोशल मीडया पर वीडियो भी वायरल है। इससे शासन को निगम के अधिकारी और चालक-परिचालक प्रतिदिन लाखों का चूना लगा रहे हैं।
उन्होंने बताया कि, यूनियन बैंक आफ इिंइया शाखा सहदेवगंज के कर्मचारियों ने नोटबंदी के दौरान अपने चहेतों को लाभ पहुंचाने के लिए किसानों के बगैर हस्ताक्षर के एनपीए खातों का संचालन किया गया। कर्मचारियों की मनमानी के चलते किसानों को कर्जमाफी का लाभ नहीं मिल सका। इसके अलावा सरकारी अस्पतालों की स्थित काफी दयनीय है।
मरीजों को बाहर से जांच और दवाएं महंगें दामों पर लेनी पड़ रही है। समस्याओं को सुनने के बाद सांसद ने कहा कि, रोडवेज के क्षेत्रीय प्रबंधक की मनमानी अगर शीध्र ही नहीं रूकी तो एक माह के अंदर क्षेत्रीय प्रबंधक का तबादला कर अन्य दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। प्रतिनिधिमंडल में बबलू निषाद, ओमप्रकाश यादव, दयाराम निषाद, श्यामबरन निषाद, रन्नू, छविराज निषाद आदि उपस्थित थे।