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बैंगलोर

स्कूल खोलने पर असमंजस बरकरार

आठ महीने से बंद स्कूलों को खोलने को लेकर अभी असमंजस की स्थिति

बैंगलोरNov 04, 2020 / 08:25 pm

Sanjay Kulkarni

स्कूल खोलने पर असमंजस बरकरार

स्कूल खोलने पर असमंजस बरकरार

बेंगलूरु. राज्य में करीब आठ महीने से बंद स्कूलों को खोलने को लेकर अभी असमंजस की स्थिति बनी हुई है। सरकार पड़ोसी आंध्र प्रदेश की तर्ज पर सप्ताह में तीन दिन स्कूल खोलने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है। अधिकारियों का कहना है कि स्कूलों को खोलने के बार में कोई निणर्य इस सप्ताह के अंत तक ही हो पाएगा। दशहरा के कारण सरकार ने ३० अक्टूबर तक स्कूलों में अवकाश की घोषणा की थी।
प्राथमिक व माध्यमिक शिक्षा मंत्री एस सुरेश कुमार स्कूलों को खोलने के मसले पर बुधवार को शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे। पहले यह बैठक सोमवार को होनी थी लेकिन तकनीकी समस्या के कारण स्थगित कर दी गई। विभाग के अधिकारियों के मुताबिक मंत्री सभी संबंधित पक्षों के साथ ४ से ६ नवम्बर के बीच अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों व विशेषज्ञों से विचार-विमर्श करेंगे और उसके बाद ही स्कूलों को खोलने के बारे में सरकार अंतिम निर्णय लेगी।
कोलार के अरबीकोत्तानूर गांव में नए सरकारी हाई स्कूल का लोकार्पण के बाद पत्रकारों से बातचीत में मंत्री कुमार ने का कहा कि सरकार स्कूलों को खोलने के लिए आंध्र प्रदेश में अपनाए गए मॉडल पर विचार कर रही है। लेकिन, कोई फैसला लेने से पहले हमें हर चीज की पड़ताल करनी पड़ेगी क्योंकि यह विद्यार्थियों के जीवन से जुड़ा है। मंत्री ने कहा कि सरकार पहले ही १७ नवम्बर से कॉलेजों को खोलने का निर्णय ले चुकी है। अब राज्य में कोरोना के मामले भी कम हो रहे हैं, जिसके कारण सरकार इस मसले पर नए सिरे से विचार कर रही है। विशेषज्ञों ने भी चरणबद्ध तरीके से स्कूलों को खोलने का सुझाव दिया है।
मंत्री ने कहा कि हर विद्यार्थी के लिए ऑनलाइन शिक्षा संभव नहीं है। स्कूल खोलने से पहले हमें शिक्षकों और विद्यार्थियों के साथ ही अन्य सुविधाओं के बारे में भी जानकारी जुटानी होगी। मंत्री ने कहा कि विशेषज्ञों के मुताबिक लंबे समय तक स्कूल बंद रहने से बच्चों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा। इसलिए सरकार फैसले पहले हर पहलू को परख रही है।
शादी के लिए धर्मांतरण पर लगेगी रोक : रवि

बेंगलूरु. पर्यटन मंत्री व भाजपा का राष्ट्रीय महासचिव सी टी रवि ने मंगलवार को कहा कि राज्य में शादी के नाम पर धर्मांतरण करने पर रोक लगाने के लिए कानून बनाया जाएगा।उन्होंने कहा कि राज्य में जिहादी तत्व महिलाओं की इज्जत से खिलवाड़ कर रहे हैं तो सरकार चुप नहीं बैठेगी। सिर्फ शादी के लिए धर्मांतरण को सरकार रोकेगी। रवि का यह बयान इलाहाबाद उच्च न्यायालय के उस फैसले के कुछ दिन बाद आया है जिसमें अदालत ने शादी के लिए धर्मांतरण को अवैध ठहराया था।
इससे पूर्व, भाजपा शासित राज्य उत्तर प्रदेश, हरियाणा और मध्य प्रदेश भी ‘लव जिहादÓ के खिलाफ कानूनी प्रावधान लाने की घोषणा कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि धर्मांतरण के कृत्य में शामिल पाए जाने वाले किसी भी व्यक्ति केखिलाफ कड़ी एवं त्वरित कार्रवाई की जाएगी।
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