यह हेलिकॉप्टर भगवान बाहुबली की 57 फीट ऊंची प्रतिमा से 200 मीटर ऊंचाई पर उड़ान भरेगा। इससे अधिक निकट आने की अनुमति नहीं दी जाएगी। देश, विदेश से आ रहे हजारों श्रद्धालुओं के आवास के लिए सभी सुविधाओं से युक्त 12 उपनगरों का निर्माण पूरा कर इन उपनगरों को श्रवणबेलगोला मठ के प्रबंधन को हस्तांतरित कर दिया गया है। उपनगरों के निर्माण का दायित्व कर्नाटक राज्य सडक़ विकास बोर्ड (केआरडीसीएल) को सौंपा गया था। बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. के.एस. कृष्णा रेड्डी के अनुसार श्रवणबेलगोला के निकट राचेनहल्ली गांव के आस-पास के क्षेत्रों में 259 एकड़ विस्तार में अंतरराष्ट्रीय अद्यतन सुविधाओं से युक्त अस्थायी 12 उपनगरों के निर्माण का कार्य किसी चुनौती से कम नहीं था। बहुत ही कम समय में बोर्ड के 10 अभियंता तथा 500 से अधिक कर्मचारियों के दिन-रात की मेहनत के कारण ही इन उपनगरों का निर्माण निर्धारित समय से भी पहले पूरा होना संभव हुआ है।
इन उपनगरों को बिजली, पानी तथा भूमिगत सीवर लाइन समेत सभी बुनियादी सुविधाएं मुहैया करवाई गई हैं। उपनगरों की मुख्य सड़क़ 80 फीट चौड़ी तथा क्रॉस रोड 40 फीट चौड़ी हैं। बोर्ड के इस कार्य की मुख्यमंत्री सिद्धरामय्या ने भी सराहना की है। इन 12 उपनगरों में 26 हजार से अधिक श्रद्धालुओं के लिए यहां पर लगाए अद्यतन सुविधायुक्त टेंट में निर्धारित समय के लिए आवास की सुविधा उपलब्ध होगी।
इस बार भी लाखों श्रध्दालु आने की आशा
महामस्तकाभिषेक महोत्सव में भाग लेने वाले साधु-संत, साध्वियों, श्रावक- श्राविकाओं, वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी, महामस्तकाभिषेक महोत्सव में चढ़ावे से अभिषेक का लाभ प्राप्त करने वाले परिवार, स्वयंसेवकों के लिए त्यागीनगर, यात्री नगर, जनप्रतिनिधि नगर, कलश नगर, पंचकल्याण नगर, स्वयंसेवक नगर तथा मीडिया नगर आदि 12 उपनगरों में आवास की सुविधा होगी। श्रवणबेलगोला मठ के प्रमुख चारुकीर्ति भट्टारक के मुताबिक वर्ष 2006 में संपन्न महामस्तकाभिषेक महोत्सव में 25 लाख श्रद्धालुओं ने भाग लिया था। अबकी बार यह संख्या 35 लाख तक पहुंच सकती है।महामस्तकाभिषेक महोत्सव 7 फरवरी से 25 फरवरी तक चलेगा।
चप्पे-चप्पे पर सुरक्षा के प्रबंध
हासन की जिलाधिकारी रोहिणी सिंधूरी के मुताबिक सुरक्षा के लिए यहां पर 750 से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। जिनकी 24 घंटे लगातार निगरानी की व्यवस्था की गई है। महामस्तकाभिषेक महोत्सव में राष्ट्रपति समेत कई गणमान्य भाग लेंगे इस लिए यहां की सुरक्षा पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। श्रद्धालुओं के लिए बनें उपनगरों के पास अग्निशमन केंद्र, अस्थायी अस्पताल, अस्थायी थाना जैसी तमाम सुविधाएं उपलब्ध की गई है।