मुख्यमंत्री ने कहा कि हरसाल राज्य के चयनित 100 ए वर्ग के देवस्थानों में साल में दो बार सामूहिक विवाह कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे जिनके खर्च की भरपाई इन देवस्थानों के कोष से की जाएगी। हरके जोड़े के विवाह पर 55 हजार रुपए का खर्च आएगा। वधु को देवालय की तरफ से 8 ग्राम सोने का मंगलसूत्र, वर को पांच हजार रुपए नकद तता वधु को 10 हजार रुपए नकद विवाह के दिन ही दिए जाएंगे। पूर्व में निजीसंघ संस्थाओं व कुछ देवस्थानों द्वारा आयोजित सामूहिक विवाहों के लिए राज्य सरकार वित्तीय सहायता देती थी।
इन विवाहों के लिए एक माह पहले ही देवस्थान के कार्यकारी अधिकारियों के पास नाम पंजीकृत करवाने होंगे और इस दौरान बाल विवाह को रोकने के कड़े निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि इस साल राज्य के 100 देवस्थानों में 26 अप्रेल व 24 मई के दिन सामूहिक विवाह आयोजित किए जाएंगे जिसका इस्तेमाल राज्य के सबी वर्गों के लोग कर सकते हैं। यदि मुस्लिम व ईसाई समुदायों के जोड़े सामूहिक विवाह में बाग लेना चाहतें हैं तो उनको आवस्यक सहायता दी जाएगी। ये सामूहिक विवाह संबंधित जिलाधिकारियों के नेतृत्व में होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि तिरुपति में प्रस्तावित नए कर्नाटक भवन का निर्माण कार्य जल्द शुरू किया जाएगा और वहां पर राज्य के लोगों को कमरे दिलाने की समुचित व्यविस्था की जाएगी। मुजरई मंत्री कोटा श्रीनिवास पुजारी ने कहा कि सप्तपदी सामूहिक विवाह योजना के लिए कन्नड़ के जाने माने अभिनेता यश व इन्फोसिस प्रतिष्ठान की अध्यक्ष डा. सुधामूर्ति को एम्बेसेडर नियुक्तकिया है जो इस योजना को लोकप्रिय बनाएंगे। कार्यतक्रम में महर्षि आनंद गुरु, विघायक रघुपति भट, हरीश पुजार, वीरुपाक्षप्पा बल्लारी, मजरई विभाग के प्रमुख सचिव अनिल कुमार व आयुक्त रोहिणी सिंधूरी भी उपस्थित थे।