मुख्य वन संरक्षक तखत सिंह राणावत ने बताया कि मृत मिले बाघ के शव के त्वचा का पैटर्न कोडुगू जिले में पहचाने गए बाघ से मेल खाता है। शव में कुछ गोली के निशान भी हैं। शार्पशूटरों ने कुछ दिनों पहले बेलूर में बाघ पर गोलीबारी की थी।
पोस्टमार्टम करने वाले पशु चिकित्सक मुजीब ने बताया कि बाघ की मौत तीन से चार दिनों पहले हुई होगी। नर बाघ की उम्र 12 वर्ष है और शव पर कई गोलियों के निशान मिले हैं।
किसान वन विभाग के दावे से पूरी तरह संतुष्ट नहीं हैं। इनके अनुसार शव के बुरी तरह सड़ जाने के कारण बाघ की आसानी से पहचान संभव नहीं है।
कर्नाटक राज्य रैयत संघ के अध्यक्ष मनु सोमय्या ने कहा कि वन विभाग पूरे विश्वास के साथ कैसे कह सकता है कि शव उसी बाघ का है जिसने तीन लोगों सहित 30 से ज्यादा मवेशियों का शिकार किया है। सोमैय्या ने प्रभावित गांवों में कॉम्बिंग ऑपरेशन जारी रखने की मांग करते हुए कहा कि इस क्षेत्र में नौ और बाघ चहलकदमी कर रहे हैं। इन्हें पकडऩा जरूरी है।