#Banswara_News : खरबूजे निकालने गए 8 साल के बालक की तालाब में डूबने से दर्दनाक मौत, 18 घंटे बाद ग्रामीणों ने निकाला शव घर में जब ध्रुवी को बेहोश देखा, तो मां-बेटे के होश उड़ गए। उनकी चीख-पुकार सुनकर पास के लोग पहुंचे। बाद में ध्रुवी को गनोड़ा हॉस्पीटल ले जाया गया, जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। परिजन इसे मानने से इनकार कर उदयपुर ले जाने के लिए अड़ गए। फिर जबरन शव वापस लोहारिया ले जाया गया। इस बीच, इत्तला पर लोहारिया थाने से जाप्ता पहुंचा और परिजनों को पोस्टमार्टम कराने की बात कही, लेकिन परिजन ध्रुवी को उदयपुर ले जाने पर अड़े रहे। काफी देर गहमागहमी के बाद पुलिस की समझाइश पर शव को परिजन महात्मा गांधी चिकित्सालय लाने के लिए तैयार हुए। इसके चलते शाम करीब सात बजे शव को मोर्चरी में रखवाया गया।
रात को सौंपी रिपोर्ट
रात को मृतका के भाई शुभम ने पुलिस को रिपोर्ट दी। इसमें बताया कि मां लक्ष्मी को लेने वह स्कूटी से दोपहर 12 बजे बस स्टैंड गया। वापसी पर घर का मुख्यद्वार बंद देखा। आवाज देने पर ध्रुवी ने दरवाजा नहीं खोला। इसके बाद परिजन आए और घर से पीछे के रास्ते पर गए, तो पीछे का दरवाजा खुला था। ध्रुवी कमरे में अचेत मिली। पुलिस के अनुसार धु्रवी के गले में पतली रस्सी से दबाने जैसे निशान हैं। पहले परिजन पीएम नहीं करवाने चाहते थे। इसलिए वे को हॉस्पीटल से ले आए। कंट्रोल रूम से सूचना पर पुलिस ने पहुंचकर समझाइश की। मामले में अभी कुछ भी नहीं कहा जा सकता है। पूछताछ एवं रिपोर्ट के बाद स्थिति स्पष्ट होगी।