पं. निकुंज मोहन पंड्या के अनुसार कार्तिक मास की अमावस्या को दीपावली मनाई जाती है। 27 अक्टूबर को दोपहर 12 बजकर 22 मिनट पर चौदहस समाप्त होगी और अमावस्या लगेगी जो सोमवार 28 अक्टूबर सुबह 9 बजकर आठ मिनट तक रहेगी। दूसरे दिन उदया तिथि के अनुसार अमावस्या होगी और सोमवार का दिन है, इसलिए यह सोमवती अमावस्या है जो अपनेआप में विशेष है। दीपावली पर लक्ष्मी पूजन का शुभ मुहूर्त रविवार को वृषभ लग्र में शाम 7 से 9 बजे और सिंह लग्र में रात्रि एक बजकर 31 मिनट से तीन बजकर 45 मिनट तक है,जिसमें पूजन का विशेष महत्व है।
बताने लगे बाजार करीब है रोशनी का त्योहार बाजार में रौनक छाने लगी है। दीपावली की खरीदारी को लेकर बाजार में लोगों की चहलकदमी भी बढ़ गई है। खरीदारी के लिए महिलाओं की खासी भीड़ देखने को मिली। दोपहर से देरशाम तक महिलाएं पूजन पाठ, घरेलू साजसज्जा, बच्चों के कपड़े और साडिय़ा खरीदती नजर आईं। वहीं, दूसरी ओर, दीपावली पूजन से जुड़ी सामग्रियां भी सडक़ पर बिकती नजर आईं।
साजसज्जा के सामान से लकदक रहा बाजार दूसरी ओर त्योहार को देखते हुए बाजार भी साजसज्जा के सामानों से लकदक रहा। तरह-तरह की रंग-बिरंगी झालरें और रोशनी के लिए मिट्टी के दीपक सहित कई प्रकार के सामान की दुकानों गांधी मूर्ति से लेकर चंद्रपोल गेट तक लगी रहीं। वहीं, कपड़ों की दुकानों पर भी सभी वर्ग के लोग खरीदारी करते नजर आए।
पांच दिन का पर्व 25 अक्टूबर – धनतेरस 26 अक्टूबर – रूप चतुर्दशी 27 अक्टूबर – दीपावली 28 अक्टूबर – सोमवती अमावस्या, अन्नकूट 29 अक्टूबर – भाई दूज