यहां ये मिले हालात स्थान- महाबार रोड स्थित सिद्धेश्वर महादेव मंदिर समय- रात 11:30 बजे स्थिति- यहां साठ-साठ के समूह में दो शिविर चल रहे हैं। जहां रात को महज सात शिक्षक गहरी नींद में सो रहे थे। यहां शिक्षकों ने सुबह आवासीय शिविर का काली पट्टी बांधकर विरोध भी किया था। रात्रि भोजन के बाद करीब 95 प्रतिशत शिक्षकों ने घर की राह पकड़ ली।
बायोमीट्रिक का कार्य धीमा प्रशिक्षण के दौरान शिक्षकों को उपस्थिति पर नजर रखने के लिए सरकार ने बायोमीट्रिक मशीन लगाई है। ऐसे में एक ही मशीन होने से 60 शिक्षकों को कतार में लगना पड़ता है। अधिकांश बार इसमें एक घंटे से अधिक का समय लग जाता है। जबकि मंगलवार को बायोमीट्रिक मशीन खराब होने से कई शिक्षकों की उपस्थिति दर्ज ही नहीं हो पाई। प्रशिक्षण के दौरान शाम 7 बजे के बाद महज खाने के अलावा कोई कार्यक्रम ही नहीं है। इसके बावजूद सरकार ने शिक्षकों को रात में रुकने के लिए पाबंद किया है। महिला शिक्षकों को इससे ज्यादा परेशानी हो रही है।
चिकित्सा किट नहीं आवासीय शिविर में एक बैच में 60 शिक्षण प्रशिक्षण लेते हैं। ऐसे में गर्मी के मौसम में अचानक खराब हो जाए तो विभाग के पास में चिकित्सा सेवा किट भी उपलब्ध नहीं है।