फिर खाली कर रहे हैं मकान
नर्मदा के जलस्तर में हो रही वृद्धि के बाद डूब गांव जांगरवा में जो लोग अपने पुराने जर्जर मकानों में वापस रहने आ गए हैं, वे फिर से मकान खाली कर टीनशेड में जा रहे हैं। जांगरवा में बैक वाटर का असर बढऩे के बाद पिछले साल जो मकान डूब से प्रभावित हुए हैं, वे फिर से डूब रहे हैं। मकानों के डूबने के बाद लोग अपना सामान समेट रहे हैं। जांगरवा के डूब प्रभावितों ने बताया कि टीनशेड में जाने के बाद उन्हें खेती कार्य करने में कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। टीनशेड की दूरी ज्यादा होने के कारण आने-जाने में परेशानी उठानी पड़ती है।
बिना बिजली के रह रहे डूब गांव में
इधर राजघाट में नर्मदा का जलस्तर बढ़कर 138 .100 मीटर पर पहुंच गया है। लगातार बढ़ते जलस्तर के बाद भी राजघाट में कई परिवार रह रहे हैं। बिना बिजली के यहां ये परिवार निवास कर रहे हैं। वहीं पीने के पानी के लिए भी इन्हें मशक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। राजघाट के प्रभावितों की मानें तो डूब आने के बाद भी उन्हें पुनर्वास का लाभ नहीं मिला है।